
Weather Update:6 August 2025: उत्तर भारत के कई राज्यों में नदियों का जलस्तर लगातार बढ़ने से बाढ़ जैसे हालात बन गए हैं। बिहार, उत्तर प्रदेश, पंजाब और उत्तराखंड में हालात खराब होते जा रहे हैं। लाखों लोग बाढ़ से प्रभावित हैं और हजारों लोगों को अपना घर छोड़ना पड़ा है। राहत बनकर आई ये बारिश अब लोगों के लिए आफत बनती जा रही है।
बिहार के पटना, खगड़िया, मुंगेर, सहरसा और कटिहार जैसे जिलों में गंगा, कोसी, बूढ़ी गंडक और बागमती नदियों का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है। पटना के निचले इलाकों में कमर तक पानी भर चुका है और कई स्कूलों में पढ़ाई बाधित है। खगड़िया में सभी नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं।
प्रयागराज में गंगा और यमुना नदियों का जलस्तर धीरे-धीरे घटने लगा है, लेकिन पानी अभी भी खतरे के निशान से अब भी ऊपर है। अब तक 80 हजार से ज्यादा लोग बेघर हो चुके हैं और 5 लाख से ज्यादा लोग प्रभावित हैं। जिले की 62 बस्तियां और 288 गांव बाढ़ की चपेट में हैं। वाराणसी में गंगा खतरे के निशान से 97 सेंटीमीटर ऊपर बह रही है। शहर के सभी 86 घाट जलमग्न हो चुके हैं और सड़कों तक पानी पहुंच गया है।
पंजाब के गुरदासपुर और शहीद भगत सिंह नगर जिलों में भारी बारिश के कारण सतलुज नदी में बाढ़ आ गई है। हरिके हेड से 22 हजार क्यूसेक पानी छोड़े जाने से फिरोजपुर में करीब 150 एकड़ धान की फसल डूब गई है।
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उत्तराखंड के उत्तरकाशी में मंगलवार को ढाई घंटे में तीन जगह बादल फटे, जिससे भारी तबाही हुई। धराली कस्बे में खीरगंगा नदी के सैलाब ने पूरा बाजार तबाह कर दिया। 22 से ज्यादा दुकानें और मकान बह गए। मौसम विभाग ने उत्तरकाशी समेत छह जिलों में भारी बारिश को लेकर ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। बचाव कार्यों के लिए एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और जल पुलिस की टीमें सक्रिय हैं। नावों और मोटरबोट्स की मदद से राहत पहुंचाई जा रही है। प्रशासन ने लोगों से सतर्क रहने और ऊंचे स्थानों पर जाने की अपील की है।