हिजाब विवाद (Hijab Controversy) को लेकर कर्नाटक में बजरंग दल कार्यकर्ता की हत्या के मामले में पुलिस की बड़ी नाकामी सामने आई है। सोशल मीडिया पर पिछले कई ऐसे प्रोफाइल एक्टिव हैं, जो लगातार साम्प्रदायिक सौहार्द्र बिगाड़ने में लगी हैं। जिस कार्यकर्ता की हत्या हुई, उसे पहले भी सोशल मीडिया के जरिये धमकी दी गई थी।
बेंगलुरु. हिजाब विवाद (Hijab Controversy) को लेकर कर्नाटक में बजरंग दल कार्यकर्ता की हत्या के मामले में पुलिस की बड़ी नाकामी सामने आई है। सोशल मीडिया पर पिछले कई ऐसे प्रोफाइल एक्टिव हैं, जो लगातार साम्प्रदायिक सौहार्द्र बिगाड़ने में लगी हैं। जिस कार्यकर्ता की हत्या हुई, उसे पहले सोशल मीडिया के जरिये धमकी दी गई थी। बता दें कि रविवार रात करीब 9 बजे 26 साल के हर्षा पर चाकू से हमला किया गया था, जिससे उसकी मौत हो गई थी। इस मामले में कर्नाटक सरकार के मंत्री भी मुस्लिम कट्टरपंथियों की साजिश बता रहे हैं। कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई (Basavaraj Bommai) ने मामले को गंभीरता से लिया है। उन्होंने मीडिया से कहा कि शिमोगा(शिवमोग्गा) में हिंदू कार्यकर्ता की हत्या से जुड़ीं काफी जानकारी हाथ लगी हैं। मुख्यमंत्री ने कहा-मैंने वरिष्ठ अधिकारियों को किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए सावधानी बरतने के निर्देश दिए हैं। जांच पहले से ही चल रही है और आरोपी का सुराग मिल गया है और जल्द ही उसे गिरफ्तार कर लिया जाएगा। मैं शिमोगा के लोगों से बिना किसी तनाव या उकसावे के शांति बनाए रखने की अपील करता हूं।
7 साल पहले भी मिली थी धमकी
सोशल मीडिया पर बजरंग दल कार्यकर्ता की हत्या का मामला ट्रेंड पकड़ा गया है। लोगों में आक्रोश है। वहीं, इस मामले में पुलिस की नाकामी भी सामने आई है। facebook पर एक ग्रुप मैंगलोर मुस्लिम(Mangalore Muslims) का हवाला देकर यूजर्स लिख रहे हैं कि इस ग्रुप पर हर्षा को 2015 में भी जान से मारने की धमकी(फतवा) मिली थी। हर्षा लगातार कट्टरपंथियों के निशाने पर था। हिजाब विवाद में भी वो एक्टिव था। कट्टरपंथी इसी बात से उससे चिढ़े हुए थे।
जज को लेकर भी टिप्पणी
मैंगलोर मुस्लिम(Mangalore Muslims) के facebook पर 9 फरवरी को कर्नाटक हाईकोर्ट के जस्टिस कृष्णा (Justice Krishna Dixit) के नाम से एक फेक तस्वीर( जिसे फेक बताया गया) शेयर करते अंग्रेजी में लिखा गया था-these are the judges who are going to give the verdict on hijab, look at it properly. यानी ये वो जज हैं जो हिजाब पर फैसला सुनाने जा रहे हैं, इसे ठीक से देख लें। यह भी धमकी के तौर पर देखा जा रहा है। यानी यह ग्रुप लगातार भड़काऊ पोस्ट करता आया है। हालांकि जस्टिस कृष्णा दीक्षित की सिंगल बेंच में कोई फैसला नहीं हो सका था। इसके बाद मामले को तीन जजों की बड़ी बेंच के पास भेज दिया था। इस पर सुनवाई चल रही है।
न्यूज एजेंसी ANI के हवाले से कर्नाटक के ग्रामीण विकास और पंचायत राज मंत्री केएस ईश्वरप्पा(KS Eshwarappa) ने कहा-"बजरंग दल के एक कार्यकर्ता की हत्या से बहुत आहत हूं। वह 'मुसलमान गुंडों' (मुस्लिम गुंडों) द्वारा मारा गया था। मैं अब स्थिति का विश्लेषण करने के लिए शिवमोग्गा जा रहा हूं। हम गुंडागर्दी नहीं होने देंगे। ईश्वरप्पा ने मीडिया के सामने कांग्रेस नेता डीके शिवकुमार पर आरोप लगाते हुए कहा कि उनके भड़काने पर ही हिंसा हुई, क्योंकि उन्होंने पहले बयान दिया था कि तिरंगा हटाकर भगवा फहराया गया है।
बजरंग दल ने दी चेतावनी
इधर, बजरंग दल इस मामल में पुलिस की कार्रवाई से खुश नहीं है। बजरंग दल के नेता रघु सकलेशपुर ने NDTV से कहा कि हर्षा उनका सक्रिय कार्यकर्ता था। अगर पुलिस ने सख्त एक्शन नहीं लिया, तो बजरंग दल आगे की रणनीति तैयार करेगा। इस बीच शिवमोगा में रविवार रात को कई जगहों पर विरोध प्रदर्शन हुआ। इसके बाद पुलिस तैनात की गई है।
राजनीति गर्माई
ईश्वरप्पा के बयान पर कर्नाटक कांग्रेस अध्यक्ष डीके शिवकुमार ने कहा कि, 'ईश्वरप्पा पागल आदमी हैं। वह बकवास करते हैं। उनके खिलाफ देशद्रोह का मामला दर्ज किया जाना चाहिए। साथ ही भाजपा उन्हें बर्खास्त करे। उधर, जनता दल सेक्युलर के नेता और कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री कुमारस्वामी ने कहा कि जब पिछले हफ्ते हिजाब को लेकर विवाद शुरू हुआ था, तब उन्होंने भविष्यवाणी की थी, इस तरह का घटनाक्रम हो सकता है। यह कांग्रेस और भाजपा की उपलब्धि है।
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