वन नेशन वन इलेक्शन पर PM मोदी की अपील, 15 फैक्ट में जानें कैसे बदलेगा देश

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 78वें स्वतंत्रता दिवस पर 'वन नेशन वन इलेक्शन' पर सभी राजनीतिक दलों से साथ आने की चर्चा की और इसके फायदे गिनाए। उन्होंने कहा इससे देश तेजी से विकास की ओर बढ़ेगा।

नेशनल डेस्क : देशभर में आज 15 अगस्त को 78वां स्वतंत्रता दिवस (Swatantrata Diwas 2024) मनाया जा रहा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने 11वीं बार लाल किले से तिरंगा फहराया। 103 मिनट के भाषण में पीएम मोदी ने कहा, 'वन नेशन वन इलेक्शन (One Nation One Election) को लेकर सभी राजनीतिक दलों और विशेषज्ञों से चर्चा हो रही है। देश में बार-बार चुनाव प्रगति को रोकने का काम कर रहे हैं। हर योजना को चुनावी रंग दिया गया। सभी दलों ने अपने विचार दिए हैं। एक कमेटी ने रिपोर्ट भी बनाई है। इसे पूरा करने के लिए सभी दलों को साथ आने के लिए कहता हूं।' यहां 15 फैक्ट में जानें कैसे बदलेगा देश...

1. एक साथ चुनाव- देश में एक साथ लोकसभा और विधानसभा चुनाव कराने से चुनावी प्रक्रिया आसान हो जाएगी, इससे काफी चीजों की बचत होगी।

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2. चुनावी खर्चों में कमी- एक साथ देशभर में चुनाव होने से राजनीतिक दलों और उम्मीदवारों का चुनावी खर्च भी कम होगा।

3. चुनावी व्यवस्था में सुधार- वन नेशन वन इलेक्शन से देशभर में एक साथ चुनाव होंगे। इससे चुनाव व्यवस्था में सुधार होगा औऱ मतदान प्रतिशत भी बढ़ेगा।

4. राजनीतिक स्थिरता- एक साथ चुनाव से राजनीतिक स्थिरता बढ़ेगी और सरकारें अपने कार्यकाल में सही तरह काम कर पाएंगी।

5. विकास कार्यों में तेजी- एक साथ चुनाव से विकास कार्यों में तेजी आएगी और सरकारें अपनी योजनाओं को पूरा करने में सफल होंगी।

6. चुनावी हिंसा में कमी- एक साथ चुनाव से चुनावी हिंसा में कमी आएगी और चुनावी प्रक्रिया शांतिपूर्ण होगी।

7. मतदाताओं की भागीदारी- एक साथ चुनाव से मतदाताओं की भागीदारी बढ़ेगी और लोगों में राजनीतिक जागरूकता आएगी।

8. राजनीतिक दलों की एकता- एक साथ चुनाव से राजनीतिक दलों में एकता बढ़ेगी और वे एक दूसरे के खिलाफ कम लड़ेंगे।

9. चुनाव आयोग की भूमिका- एक साथ चुनाव से चुनाव आयोग की भूमिका महत्वपूर्ण होगी और वह चुनावी प्रक्रिया को निष्पक्ष तरीके से संपन्न कर पाएगा।

10. संविधान में संशोधन- एक साथ चुनाव के लिए संविधान में संशोधन की आवश्यकता होगी, जिससे चुनावी प्रक्रिया में स्थिरता आएगी।

11. राज्यों की सहमति- एक साथ चुनाव के लिए राज्यों की सहमति आवश्यक होगी, जिससे राज्यों में राजनीतिक एकता बढ़ेगी।

12. चुनावी कानूनों में संशोधन- एक साथ चुनाव के लिए चुनावी कानूनों में संशोधन की आवश्यकता होगी, जिससे चुनावी प्रक्रिया में पारदर्शिता आएगी।

13. राजनीतिक दलों की तैयारी- एक साथ चुनाव के लिए राजनीतिक दलों को अपनी तैयारी करनी होगी, जिससे वे चुनावी प्रक्रिया में सफल हो पाएंगे।

14. चुनावी प्रक्रिया में पारदर्शिता- एक साथ चुनाव से चुनावी प्रक्रिया में पारदर्शिता आएगी और मतदाताओं को अपने उम्मीदवारों का चयन करने में आसानी होगी।

15. देश की एकता- एक साथ चुनाव से देश की एकता बढ़ेगी और लोगों में राष्ट्रीयता की भावना आएगी।

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