
जमीयत उलेमा-ए-हिंद के अध्यक्ष मौलाना महमूद मदनी ने बाबरी मस्जिद, तलाक और अन्य मामलों के फैसलों पर न्यायपालिका की निष्पक्षता पर सवाल उठाए हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि सुप्रीम कोर्ट सरकार के दबाव में निर्णय ले रहा है और 1991 के उपासना स्थल अधिनियम के बावजूद कई कार्रवाइयाँ हुईं। मदनी के इस बयान के बाद राजनीतिक हलचल तेज हो गई है। वीडियो में देखें पूरा विवाद और देशभर की प्रतिक्रियाएँ।