Fact Check: क्या सच में पुलवामा अटैक के बाद BJP को पाकिस्तानी कंपनी से मिला चंदा?

सोशल मीडिया पर दावा किया गया है कि भाजपा को पाकिस्तानी कंपनी ने पुलवामा अटैक के बाद चंदा दिया था। समाजवादी पार्टी ने भी यह दावा किया है।

Vivek Kumar | Published : Mar 15, 2024 10:49 AM IST / Updated: Mar 15 2024, 04:33 PM IST

नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद SBI ने चुनाव आयोग को चुनावी बांड की जानकारी दे दी है। इसके बाद से राजनीतिक दलों को मिले चंदा को लेकर कई तरह की बातें सामने आ रहीं हैं। ऐसा दावा किया जा रहा है कि भाजपा को पुलवामा अटैक के बाद पाकिस्तानी कंपनी से चंदा मिला था।

कई नेताओं और सोशल मीडिया यूजर्स ने दावा किया कि 'The Hub Power Company' नाम की पाकिस्तानी कंपनी ने 2019 में लोकसभा चुनाव के दौरान भाजपा को 95 लाख रुपए दान दिया था। समाजवादी पार्टी ने भी एक्स पर पोस्ट कर यह दावा किया है। सपा ने पोस्ट किया, "पाकिस्तानी कंपनी Hub Power Company ने लोकसभा चुनाव 2019 के समय BJP को 95 लाख रुपए चंदा दिया। इसी समय पुलवामा में भी हमारे जवानों की हत्या हुई थी। BJP जैसी देशद्रोही पार्टी आज तक नहीं देखा था मैंने। पाकिस्तानी कंपनियों से भाजपा को इतना प्यार क्यों? यही कारण था की भाजपा चंदा छुपाना चाहती थी।"

 

 

पाकिस्तानी कंपनी ने कहा- नहीं दिया चंदा

एक्स पर इसी तरह का दावा कई और यूजर ने किया तो यह वायरल हो गया। मामला पाकिस्तानी कंपनी The Power Hub Company Limited (HUBCO) की जानकारी में आया तो उसने स्पष्टीकरण जारी किया। कंपनी ने बयान जारी कर कहा कि उनका इस मामले से कोई लेना-देना नहीं है। यह भारत में स्थित कोई कंपनी है।

कंपनी ने कहा, "यह हमारे ध्यान में आया है कि गलती से HUBCO की पहचान "Hub Power Company" नाम के भारतीय कंपनी के बदले की जा रही है। HUBCO को भारत में चुनावी बांड के बारे में हालिया पूछताछ से जोड़ा जा रहा है। हम स्पष्ट रूप से बताना चाहेंगे कि हम इस मामले में बताई गई कंपनी या भारत में स्थित किसी अन्य कंपनी से जुड़े नहीं हैं। मीडिया में जिन भुगतानों को उजागर किया जा रहा है, उनका HUBCO से कोई संबंध नहीं है।"

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HUBCO ने कहा, "पाकिस्तान के बाहर हम जो भी भुगतान करते हैं वह SBP रजिस्टर्ड कॉन्ट्रैक्ट्स के अनुसार होता है। इसके लिए स्टेट बैंक ऑफ पाकिस्तान से अनुमति लेने के बाद ही प्रॉसेस किया जाता है। हम सभी से किसी भी सामग्री को प्रकाशित करने से पहले तथ्यों की जांच करने का आग्रह करते हैं। ऐसा नहीं किए जाने पर गलत सूचना फैल सकती है। आगे की पूछताछ या स्पष्टीकरण के लिए हमारी आधिकारिक वेबसाइट पर दिए गए विवरण के अनुसार हमसे संपर्क किया जा सकता है।"

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