घर में फंसे 75 वर्ष के बीमार बुजुर्ग के लिए फरिश्ता बने SP, पुलिस अफसर ने पेश की ऐसी मानवता की मिसाल

कोरोना की दहशत के इस बीच अगर कोई हमारी रक्षा कर रहा है तो वह है देश की पुलिस है। ऐसी ही मानवता की एक मिसाल पेश की है बिहार के एक एसपी ने।

Asianet News Hindi | Published : Apr 1, 2020 3:00 PM IST / Updated: Apr 01 2020, 08:37 PM IST

छपरा(बिहार). पूरी दुनिया इस समय कोरोना वायरस के संकट से जूझ रही है। लेकिन, दहशत के इस बीच अगर कोई हमारी रक्षा कर रहा है तो वह है देश की पुलिस है। ऐसी ही मानवता कि मिसाल पेश की है बिहार के एक एसपी ने।

घर में अकेले बजुर्ग को मार गया लकवा
दरअसल, छपरा जिले में एक 75 वर्ष के बुजुर्ग रामेश्वर यादव घर में अकेले थे। इसी दौरान उनको अचनाक लकवा मार गया। वह चल फिर भी नहीं सकते थे। लॉकडाउन के चलते पड़ोसियों ने भी उनकी मदद नहीं की। ऐसे में उन्होंने विशाखापट्टनम में नेवी की नौकरी कर रहे अपने बेटे उमेश यादव को फोन कर अपना दर्द बताया। बेटे ने तुरंत सारण के एसपी हरकिशोर राय को फोन लगाकर अपने पिता की मदद करने की विनती की।

पुलिस अफसर ने पेश की मानवता की मिसाल
एसपी हरकिशोर राय ने तुंरत एरिया पीड़ित के एरिया में आने वाले थाने के पुलिसवलों को बुजुर्ग की सहायता करने के निर्देश दिए। सिपाहियों ने किसी तरह रामेश्वर यादव को घर से बाहर निकाकर थाने लेकर आई। इसके बाद अफसर को जानकारी दी। एसपी ने अपने खर्चे से फौरन एक  स्कॉर्पियो गाड़ी की व्यवस्था कराई और बुजुर्ग को उनके पैतृक गांव बलिया भिजवाया गया। जहां उनके अन्य परिजन रहते हैं। 

दर्द बयां कर फूट-फूटकर रोने लगा बुजुर्ग
जानकारी के मुताबिक, जब रामेश्वर यादव के पास पुलिसवाले पहुंचे तो वह फूट-फूटकर रोने लगे। अपना दर्द बयां करते हुए बोले-किस्मत देखो मेरे तीन-तीन बेटे सरकारी नौकरी में हैं। लेकिन वह चाहकर भी लॉकडाउन के चलते यहां नहीं आ सके। इसके बाद नेवी में कार्यरत पीड़ित का बेटा उमेश ने एसपी हरकिशोर राय को फोन पर धन्यवाद देते हुए इमोशनल हो गया। कहना लगा सर जब तक आप जैसे पुलिस अफसर देश में हैं तो कोरोना कुछ नहीं कर पाएगा। आपकी इंसानियत को मेरा सलाम।

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