घटना निजामपुर मोड़ स्थित गुरुद्वारे की है। अमृतसर के बाद कपूरथला में इस तरह का मामला सामने आने से पंजाब पुलिस और राज्य सरकार की खासी किरकिरी हुई थी। शुरुआत में कपूरथला की घटना को बेअदबी का रूप देने की कोशिश हुई, लेकिन अब मुख्यमंत्री के दावे के बाद साफ हो गया है कि वहां युवक की हत्या हुई थी और ये लिंचिंग का ही मामला है।
कपूरथला। पंजाब (Punjab) के कपूरथला (kapurthala) में 5 दिन पहले युवक की पीट-पीटकर हत्या के मामले (Mob Lynching Case) में शुक्रवार को मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी (CM Charanjit singh channi) का बड़ा बयान आया है। सीएम ने स्वीकार किया है कि कपूरथला में 19 दिसंबर को मॉब लिचिंग की घटना हुई थी। जांच में गुरुदारे में बेअदबी करने का कोई सबूत नहीं मिला है। मामले में हत्या का केस दर्ज किया जा रहा है। सीएम के इस बयान के बाद पुलिस भी अलर्ट मोड में आ गई और कुछ ही देर बाद संबंधित गुरुद्वारे के केयर टेकर अमरजीत सिंह को हत्या के मामले में गिरफ्तार कर लिया है।
ये घटना निजामपुर मोड़ स्थित गुरुद्वारे की है। अमृतसर के बाद कपूरथला में इस तरह का मामला सामने आने से पंजाब पुलिस और राज्य सरकार की खासी किरकिरी हुई थी। शुरुआत में कपूरथला की घटना को बेअदबी का रूप देने की कोशिश हुई, लेकिन अब मुख्यमंत्री के दावे के बाद साफ हो गया है कि वहां युवक की हत्या हुई थी और ये लिंचिंग का ही मामला है। शुक्रवार को चंडीगढ़ में CM चन्नी ने कहा- ‘कपूरथला मामले की जांच की गई है, वहां ऐसा कोई सबूत नहीं मिला कि बेअदबी हुई है। कपूरथला में एक व्यक्ति ने पहली मंजिल पर महाराज का स्वरूप रखा हुआ था। ये मामला कत्ल की तरफ गया है। इस मामले में जांच हो चुकी है। मामला भी ट्रेस हो चुका है। नए फैक्ट के बाद अब FIR को संशोधित कर दिया जाएगा।’ चन्नी के ऐलान के घंटेभर बाद कपूरथला पुलिस ने गुरुद्वारा के केयर टेकर की गिरफ्तारी कर लिया।
युवक की गर्दन, सिर, छाती और जांघ पर थे तलवारों के 30 वार
कपूरथला में इस युवक को बेरहमी से मारा गया था। पोस्टमार्टम के बाद डॉक्टर्स को युवक के शरीर पर 30 वार मिले थे, जो तलवार से किए गए थे। 5 सदस्यीय डॉक्टर्स के पैनल ने शव का पोस्टमार्टम किया था और बड़ा खुलासा किया था। डॉक्टर्स का कहना था कि युवक के गर्दन, सिर, छाती और दाईं जांघ पर गहरे जख्म मिले हैं। घटना के बाद युवक का शव लेने के लिए कोई नहीं आया, इसके बाद पुलिस ने उसका संस्कार कर दिया।
SSP ने भी पहले यही कहा था, बाद में ढीले पड़ गए थे तेवर
कपूरथला के SSP हरकमलप्रीत सिंह खख ने शुरुआती जांच के बाद ही स्पष्ट कर दिया था कि युवक चोरी के इरादे से आया था। उसने बेअदबी की कोई कोशिश नहीं की थी। भीड़ ने युवक को पीट-पीटकर मार डाला। पुलिस ने इस संबंध में केस भी कर दर्ज कर लिया था। हालांकि, जब इस संबंध में प्रेस कॉन्फ्रेंस की और लगातार कॉल आए तो पुलिस के भी तेवर ढीले पड़ गए थे।
एक वीडियो ने खोली पूरी पोल
मामले में असली पोल तब खुली, जब एक जिम कर्मचारी ने युवक का वीडियो वायरल किया। इसमें मारा गया युवक मंदबुद्धि लग रहा था। वीडियो सामने आने के बाद पुलिस और सरकार पर सवाल खड़े होने लगे कि कपूरथला मामले को जानबूझकर बेअदबी का रंग दिया गया। वह असल में मॉब लिंचिंग ही थी।
ये क्या? कपूरथला केस में बड़े अफसर बोले- हत्या हुई, केस दर्ज किया, PC में फोन आए तो ढीले पड़ गए तेवर