अब पूरी दुनिया में सिंगल रहने का ट्रेंड बढ़ता ही जा रहा है। काफी लोग शादी करने से बचना चाहते हैं। उन्हें लगता है कि सिंगल रह कर वे ज्यादा सुखी जीवन बिता सकते हैं। सिंगल रहने के फायदे तो जरूर हैं, लेकिन नुकसान भी कम नहीं हैं।
लाइफस्टाइल डेस्क। अब पूरी दुनिया में सिंगल रहने का ट्रेंड बढ़ता ही जा रहा है। काफी लोग शादी करने से बचना चाहते हैं। उन्हें लगता है कि सिंगल रह कर वे ज्यादा सुखी जीवन बिता सकते हैं। सिंगल रहने के फायदे तो जरूर हैं, लेकिन नुकसान भी कम नहीं हैं। ज्यादातर वे लोग जो सिंगल रहते हैं, किसी न किसी से रिलेशनशिप में बने रहते हैं, लेकिन समाज में वे एक कपल की तरह सामने नहीं आते। यूरोप और अमेरिका में सिंगल रहने का ट्रेंड तो काफी पहले से ही था, लेकिन अब एशियाई देशों में भी यह ट्रेंड बढ़ता जा रहा है।
1. ज्यादा खुश रहते हैं सिंगल लोग
सिंगल लोगों का मानना है कि वे शादीशुदा लोगों की तुलना में ज्यादा खुश रहते हैं। वे यह भी कहते हैं कि उनके रिलेशन सोसाइटी के लोगों से बेहतर होते हैं। लेकिन उनकी खुशी की वजह सिर्फ यही होती है कि उन पर कोई जिम्मेदारी नहीं होती। वहीं, शादीशुदा लोगों पर फैमिली से जुड़ी कई तरह की जिम्मेदारियां होती हैं।
2. ज्यादा फिट रहते हैं सिंगल लोग
लोगों का मानना है कि सिंगल लोग ज्यादा फिट होते हैं। उन्हें एक्सरसाइज करने का ज्यादा समय मिलता है, वहीं शादीशुदा लोग ज्यादा व्यस्त रहते हैं और अपनी फिटनेस पर ध्यान नहीं दे पाते हैं। इंग्लैंड में कुछ साल पहले एक सर्वे में पाया गया था कि शादीशुदा जोड़ों का वजन कुछ ही साल में बहुत ज्यादा बढ़ जाता है और उन्हें कई तरह की स्वास्थ्य समस्याओं का सामना करना पड़ता है। लेकिन भूलना नहीं चाहिए कि सिंगल लोग जब बीमार पड़ते हैं तो उन्हें ज्यादा परेशानी का सामना करना पड़ता है, क्योंकि दोस्त उनकी ज्यादा केयर नहीं कर सकते।
3. करियर में आगे बढ़ते हैं सिंगल लोग
कहा जाता है कि सिंगल लोग अपने करियर में मैरिड लोगों की तुलना में ज्यादा आगे बढ़ते हैं। वे अपने काम को भी ज्यादा एन्जॉय करते हैं और किसी भी चैलेंज को स्वीकार करने के लिए तैयार रहते हैं। लेकिन यह पूरा सच नहीं है। जो लोग किसी के साथ रिलेशनशिप में रहते हैं और शादीशुदा होते हैं, वे भी पॉजिटिव एटिट्यूड रख कर आगे बढ़ सकते हैं।
4. खर्च होता है कम
सिंगल रहने का एक फायदा यह भी बताया जाता है कि उनका खर्च कम होता है और आमदनी ज्यादा होती है। सिंगल लोगों को कर्ज वगैरह लेने की भी जरूरत नहीं पड़ती। लेकिन कई मनोवैज्ञानिकों का मानना है कि यह एक गलत धारणा है। सिंगल लोग भी खर्च करते हैं, लेकिन खुद पर। इससे धीरे-धीरे वे स्वार्थी हो जाते हैं और जरूरत पड़ने पर भी किसी पर खर्च करना नहीं चाहते। वहीं, ऐसे मैरिड कपल जिनकी आमदनी कम भी होती है, जरूरत पड़ने पर दूसरों की मदद करने के लिए तैयार हो जाते हैं।
5. सिंगल लोग भी बनाते हैं रिश्ता
कुछ शोधकर्ताओं का यह मानना है कि सिंगल लोग ज्यादा खुश रहते हैं। लेकिन इससे सब सहमत नहीं हैं। सिंगल लोग शादी तो नहीं करते, लेकिन शारीरिक संबंध बनाने के लिए किसी न किसी से रिश्ता जरूर रखते हैं। लेकिन यह रिश्ता विवाह के रिश्ते की तरह स्थाई नहीं होता। जब सिंगल लोग उम्रदराज हो जाते हैं तो उन्हें किसी न किसी के सहारे की जरूरत होती है। ऐसे समय में मैरिड कपल के मुकाबले उन्हें ज्यादा परेशानी झेलनी पड़ती है।