Mahashivratri 2023: महाशिवरात्रि पर करें देवी पार्वती की भी पूजा, दूर होंगी परेशानियां और चमक उठेगी किस्मत

Mahashivratri 2023: महाशिवरात्रि पर भगवान शिव की पूजा तो होती ही है, साथ ही अगर देवी पार्वती की पूजा भी विशेष रूप से की जाए तो वैवाहिक जीवन सुखमय बना रहता है और परेशानियां दूर होती हैं।

 

Manish Meharele | Published : Feb 18, 2023 3:01 AM IST / Updated: Feb 18 2023, 11:55 AM IST

उज्जैन. महाशिवरात्रि वैसे तो भगवान शिव की पूजा का दिन है, लेकिन इस दिन देवी पार्वती की पूजा भी विशेष रूप से करना चाहिए। ऐसा करने से वैवाहिक जीवन की परेशानियां दूर होती हैं और साथ ही साथ भाग्योदय भी होता है। शक्ति के बिना शिव की भक्ति अधूरी है, इसलिए महाशिवरात्रि पर की गई देवी पार्वती की पूजा विशेष फल देने वाली मानी गई है। आगे जानिए देवी पार्वती की पूजा विधि और आरती…

इस विधि से करें देवी पार्वती की पूजा (Devi Parvati Ki Puja Vidhi)
- देवी पार्वती की पूजा से पहले स्नान आदि करने के बाद हाथ में जल और चावल लेकर व्रत-पूजा का संकल्प लें। जैसा व्रत आप करना चाहते हैं, उसी के अनुरूप संकल्प लेना चाहिए। संकल्प के दौरान या मंत्र बोलें-
गौरी मे प्रीयतां नित्यं अघनाशाय मंगला। सौभाग्यायास्तु ललिता भवानी सर्वसिद्धये।।
अर्थ - गौरी नित्य मुझ पर प्रसन्न रहें, मंगला मेरे पापों का नाश करें। ललिता मुझे सौभाग्य प्रदान करें और भवानी मुझे सब सिद्धियां प्रदान करें।
- इसके बाद घर में किसी साफ स्थान पर देवी पार्वती की प्रतिमा या चित्र स्थापित कर पूजा शुरू करें। देवी के चित्र पर फूल माला चढ़ाएं और कुमकुम की बिंदी लगों। इसके बाद शुद्ध घी का दीपक जलाएं।
- माता पार्वती को सुहाग की सामग्री जैसे लाल चूड़ियां, लाल चुनरी, कुमकुम, मेहंदी, हल्दी आदि चीजें एक-एक करके चढ़ाते रहें। इसके बाद ये चीजें किसी जरूरतमंद सुहागिन महिला को दान कर दें।
- देवी पार्वती का अभिषेक भी करें। स्वयं ये काम न कर पाएं तो किसी योग्य ब्राह्मण की सहायता भी ले सकती हैं। अभिषेक हल्दी मिश्रित जल से करें तो वैवाहिक जीवन सुखमय बना रहता है।
- वैसे तो देवी को किसी भी वस्तु का भोग लगा सकते हैं, लेकिन विशेष रूप गाय के दूध से बनी खीर का भोग लगाना चाहिए। बाद में ये प्रसाद परिवार के लोगों को मिलकर खाना चाहिए। इससे सुख-समृद्धि बनी रहती है। अंत में आरती करें।

ये हैं मां पार्वती आरती (Devi Parvati Ki Aarti)
जय पार्वती माता,
जय पार्वती माता
ब्रह्मा सनातन देवी,
शुभ फल की दाता ।
॥ जय पार्वती माता... ॥
अरिकुल कंटक नासनि,
निज सेवक त्राता,
जगजननी जगदम्बा,
हरिहर गुण गाता ।
॥ जय पार्वती माता... ॥
सिंह को वहान साजे,
कुंडल है साथा,
देव वधू जस गावत,
नृत्य करत ता था ।
॥ जय पार्वती माता... ॥
सतयुग रूप शील अतिसुंदर,
नाम सती कहलाता,
हेमाचंल घर जन्मी,
सखियाँ संगराता ।
॥ जय पार्वती माता... ॥
शुम्भ निशुम्भ विदारे,
हेमाचंल स्थाता,
सहस्त्र भुजा तनु धरिके,
चक्र लियो हाथा ।
॥ जय पार्वती माता... ॥
सृष्टि रूप तुही है जननी,
शिव संग रंगराता,
नन्दी भृंगी बीन लही,
सारा जग मदमाता ।
॥ जय पार्वती माता... ॥


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