कौन हैं खाटू श्याम और महाभारत से क्या है कनेक्शन, जानें कैसे बने थे पांडवों की जीत की वजह

राजस्थान के सीकर जिले में स्थित खाटू श्याम मंदिर में सोमवार सुबह अचानक भगदड़ मच गई। इस हादसे में अब तक 3 महिलाओं की मौत हो गई, जबकि 4 लोग घायल हैं। आखिर क्यों इतना प्रसिद्ध है खाटू श्याम मंदिर और महाभारत से इसका क्या है कनेक्शन। आइए जानते हैं। 

Asianet News Hindi | Published : Aug 8, 2022 5:43 AM IST / Updated: Aug 08 2022, 11:19 AM IST

Khatu Shyam: राजस्थान के सीकर जिले में स्थित खाटू श्याम मंदिर में सोमवार सुबह अचानक भगदड़ मच गई। इस हादसे में अब तक 3 महिलाओं की मौत हो गई, जबकि 4 लोग घायल हैं। हादसा सोमवार तड़के 5 बजे उस वक्त हुआ, जब एकादशी के मौके पर दर्शन करने आए श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ पड़ा। मंदिर का पट खुलते ही भगदड़ मच गई, जिसमें कई लोग कुचल गए। आखिर क्यों इतना प्रसिद्ध है खाटू श्याम मंदिर और महाभारत से इसका क्या है कनेक्शन, आइए जानते हैं। 

भगवान कृष्ण के कलियुगी अवतार हैं खाटू श्याम : 
बाबा खाटू श्याम को भगवान कृष्ण का कलियुगी अवतार कहा जाता है। दरअसल, महाभारत काल में भीम के पौत्र थे, जिनका नाम बर्बरीक था। यही बर्बरीक अब खाटू श्याम हैं। श्री कृष्ण ने स्वयं बर्बरीक को कलियुग में खाटू श्याम के नाम से पूजे जाने का वरदान दिया था। 

Latest Videos

भीम के पोते हैं बर्बरीक : 
दरअसल, महाभारत में जब कौरवों ने लाक्षागृह में आग लगवा दी तो पांडव वहां से अपनी जान बचाकर भागे। इस दौरान वो वन-वन भटकते रहे। वन में ही भीम की मुलाकात हिडिंबा नाम की राक्षसी से हुआ। हिडिंबा ने भीम को देखते ही उन्हें मन ही मन में अपना पति स्वीकार कर लिया। बाद में हिडिंबा कुंती से मिली और भीम के साथ उनका विवाह हो गया। हिडिम्बा और भीम के एक पुत्र हुआ, जिसका नाम घटोत्कच था। इन्हीं घटोत्कच का पुत्र का नाम बर्बरीक है, जो ताकत में अपने पिता से भी ज्यादा मायावी था। 

हमेशा हारने वाले पक्ष की मदद करते थे बर्बरीक : 
बर्बरीक ने तपस्या के बल पर देवी से तीन बाण प्राप्त किए। इनकी खासियत ये थी कि जब तक ये अपने लक्ष्य को भेद न दें तब तक उसके पीछे पड़े रहते थे। लक्ष्य भेदने के बाद ये तुणीर में लौट आते थे। इन बाणों की शक्ति से बर्बरीक अजेय हो गया। महाभारत में जब कौरव-पांडवों में युद्ध चल रहा था तो बर्बरीक कुरुक्षेत्र की तरफ आ रहा था। बर्बरीक हमेशा हारने वाले पक्ष की मदद करते थे और यद्ध में कौरव हार की तरफ बढ़ रहे थे। ऐसे में श्रीकृष्ण ने सोचा कि अगर बर्बरीक युद्ध में शामिल हुआ तो ठीक नहीं होगा। बर्बरीक को रोकने के भगवान कृष्ण ने ब्राह्मण का रूप धरा और उसके सामने पहुंच गए।

कृष्ण ने बर्बरीक को रोक कर ली उनकी परीक्षा : 
इसके बाद कृष्ण ने बर्बरीक से पूछा कि तुम कौन हो और कुरुक्षेत्र क्यों जा रहे हो। इस पर बर्बरीक ने कहा कि वो हारने वाले पक्ष का साथ देंगे और अपने एक ही बाण से महाभारत का युद्ध खत्म कर देंगे। इस पर कृष्ण ने उसकी परीक्षा लेनी चाही और कहा- अगर तुम श्रेष्ठ धनुर्धर हो तो सामने खड़े पीपल के पेड़ के सारे पत्ते एक ही तीर में गिराकर दिखाओ। बर्बरीक भगवान की बातों में आ गए और तीर चला दिया, जिससे कुछ क्षणों में सभी पत्ते गिर गए और तीर श्रीकृष्ण के पैरों के पास चक्कर लगाने लगा। दरअसल, कृष्ण ने एक पत्ता चुपके से अपने पैर के नीचे दबा लिया था। इस पर बर्बरीक ने कहा- आप अपना पैर हटा लें, ताकि तीर उस पत्ते को भी भेद सके। 

कृष्ण ने बर्बरीक से मांग लिया उनका सिर : 
इसके बाद श्रीकृष्ण ने बर्बरीक से कहा कि तुम तो बड़े शक्तिशाली हो। क्या मुझ ब्राह्मण को कुछ दान नहीं दोगे। इस बर्बरीक ने कहा- आप जो चाहें मांग लें। श्रीकृष्ण ने बर्बरीक से उसका सिर मांग लिया। इस पर बर्बरीक समझ गए कि ये कोई साधारण ब्राह्मण नहीं है। इसके बाद श्रीकृष्ण अपने वास्तविक स्वरूप में आए तो बर्बरीक ने उन्हें अपना सिर काटकर भेंट कर दिया। 

बर्बरीक को दिया कृष्ण रूप में पूजे जाने का वरदान : 
इसके बाद भगवान कृष्ण ने बर्बरीक से अपनी कोई इच्छा बतलाने को कहा। तब बर्बरीक ने कहा कि वो कटे हुए सिर के साथ ही महाभारत का पूरा युद्ध देखना चाहते हैं। श्रीकृष्ण ने उनकी इच्छा पूरी की और बर्बरीक का सिर पास की ही एक पहाड़ी, जिसे खाटू कहा जाता था वहां स्थापित हो गया। यहीं से बर्बरीक ने पूरा युद्ध देखा। कृष्ण ने बर्बरीक को वरदान दिया कि वो कलियुग में मेरे ही एक नाम यानी श्याम से पूजे जाएंगे। वो हारे का सहारा बनेंगे। 

ये भी देखें : 

खाटू श्याम मंदिर में भगदड़: परिजन मदद के लिए चिल्लाते रहे भीड़ ने 3 महिलाओं को कुचल डाला, मौके पर मौत

खाटू श्याम दर्शन करने आए भक्तों को सुनाया ऐसा आईडिया, खुद दे दिए 3 करोड़...फिर जो वो चौंकने वाला था

Share this article
click me!

Latest Videos

कौन हैं मुकेश अहलावत? आतिशी की टीम सबसे ज्यादा इनकी चर्चा क्यों
तिरुपति लड्डू का भगवान वेंकटेश से कनेक्शन, क्यों 300 साल पुरानी परंपरा पर उठ रहे सवाल?
'कुत्ते की पूंछ की तरह सपा के दरिंदे भी...' जमकर सुना गए Yogi Adityanath #shorts
Bulldozer Action पर Asaduddin Owaisi ने BJP को जमकर धोया
ऑनलाइन पेमेंट कर PM Modi ने खरीदी सबसे बढ़िया चीज । PM Vishwakarma