बिहार के मुजफ्फरपुर में बागमती नदी में बड़ा हादसा हो गया है। 30 लोगों से भरी एक नाव नदी में डूब गई। इस घटना के बाद इलाके में कोहराम मचा हुआ है। बताया जा रहा है कि नाव में अधिकतर स्कूली बच्चे सवार थे।
पटना. बिहार के मुजफ्फरपुर से बड़े हादसे की खबर सामने आई है। यहां गुरुवार सुबह बागमती नदी में 30 लोगों से भरी एक नाव डूब गई। घटना की जानकारी लगते ही स्थानीय लोग नदी में कूदे और 20 लोगों को बाहर निकाल लिया गया। लेकिन 10 लोग अभी तक लापता हैं। बताया जा रहा है कि नाव में सवार अधिकतर स्कूी बच्चे थे।
इस वजह से नाव नदी में डूब गई
दरअसल, यह दर्दनाक हादसा गुरुवार सुबह साढ़े 9 बजे मुजफ्फरपुर जिले के गायघाट थाना क्षेत्र में हुआ है। जहां लोग नाव में सवार होकर नदी के उस पार जा रहे थे। बताया जा रहा है कि नाव की क्षमता से ज्यादा लोग उसमें बैठे हुई थे। जैसे ही नाव गहराई में पहुंची तो नदी का बहाव तेज होने लगा और तभी नाव पलट गई। बता दें कि रस्सी के सहारे नाव को पार कराया जा रहा था।रस्सी अचानक टूट गई। नाव नदी में पलट गई।
पुलिस के साथ SDRF-NDRF की टीम कर रही रेस्क्यू
हादसे की खबर लगते ही इलाके में अफरा-तफरी मच गई। सूचना मिलते ही भारी संख्या में मौके पर पहुंचे और लोगों को नदी से बाहर निकालने में जुट गए। वहीं कुछ देर बाद पुलिस के साथ SDRF-NDRF की टीम मौके पर पहुंच चुकी है। रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू कर दिया गया है। 10 से ज्यादा लोग अब भी लापता हैं। प्रशासन की तरफ से अभी भी रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है। बताया जा रहा है कि अगर गांव के लोगों ने फुर्रती नहीं दिखाई होती तो लापता होने वालों की संख्या और ज्यादा होती।
सीएम नीतीश कुमार भी मुजफ्फरपुर पहुंचे
बता दें कि बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भी आज हादसे वाले जिला मुजफ्फरपुर के दौरे पर हैं। यहां सीएम एसकेएमसीएच में नवनिर्मित पीकू वार्ड का उद्घाटन करने आए हैं। जैसे ही हादसे की खबर सीएम को लगी तो उन्होंने तत्काल डीएम और अधिकारियों को पीड़ित लोगों की मदद करने के निर्देश दिए। साथ ही सीएम ने कहा कि हादसे में जो कोई हताहत होगा उसके परिवार को राज्य सरकार मदद करेगी। वहीं डीएम प्रणव कुमार ने बताया कि सभी टीमें रेस्क्यू में लगी हुई हैं। कितने लोग डूबे हैं इसका आंकड़ा बता पाना मुश्किल है। जल्द ही सभी को सुरक्षित निकाल लिया जाएगा।
'हादसे की जिम्मेदार है बिहार सरकार'
बता दें कि जिस जगह पर यह हादसा हुआ वहां पर कोई पुल नहीं है। इसलिए बच्चे और आसपास के लोग इसी तरह से आते-जाते थे। गांव के लोग कई सालों से पुल की मांग कर रहे हैं। लेकिन ना तो सरकार उनकी सुनती है और ना ही प्रशासन, ग्रामीणों ने बताया कि इस हादसे की जिम्मेदार बिहार सरकार है। कितनी बार कई पार्टियों की सरकारें आई और गईं, लेकिन किसी ने हमारी नहीं सुनी। सभी वोट लेने आते हैं और वादा कर चले जाते हैं। जीत के बाद कोई सुध नहीं लेता।