राधिका यादव की हत्या से पहले वायरल हुई कोच संग चैट में खुला विदेश जाने का राज़। टेनिस एकेडमी विवाद और 15 दिन का झगड़ा बना मौत की वजह? व्हाट्सएप पर लिखा था– "पाबंदियां बहुत हैं, बाहर जाना चाहती हूं..." जाने क्या है विदेशी कनेक्शन का राज?
Radhika Yadav murder: टेनिस खिलाड़ी राधिका यादव की हत्या से पहले कोच अजय यादव संग उसकी व्हाट्सएप चैट सामने आई, जिसमें उसने साफ कहा था – “मैं पाबंदियों से परेशान हूं… दुबई या ऑस्ट्रेलिया जाना चाहती हूं।” इस चैट के वायरल होने के ठीक 15 दिन बाद, रसोई में राधिका की गोली मारकर हत्या कर दी गई। अब सवाल उठ रहा है – क्या यह हत्या पहले से तय थी? या कोई इमोशनल ब्रेकडाउन?
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कोच से चैट में खुला विदेश जाने का राज
राधिका के कोच अजय यादव के अनुसार, वह अक्टूबर-नवंबर तक विदेश जाने की योजना बना रही थी। कोच ने चीन भेजने का ऑफर भी दिया, लेकिन राधिका ने मना कर दिया क्योंकि उसे खाने-पीने में दिक्कत लगती थी। उसने दुबई या ऑस्ट्रेलिया जाने की इच्छा जताई थी। कोच का दावा है कि राधिका आज़ादी चाहती थी, अपनी शर्तों पर जीना चाहती थी, लेकिन परिवार इसके खिलाफ था।
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टेनिस एकेडमी पर उठा चरित्र का सवाल?
राधिका गुरुग्राम में खुद की टेनिस एकेडमी चला रही थी। यह बात गांव के कुछ लोगों को पसंद नहीं थी। वे उसके पिता दीपक यादव को ताना देते थे और बेटी के कैरेक्टर पर सवाल उठाते थे। ग्रामीणों की टिप्पणियों से परेशान पिता अक्सर राधिका को एकेडमी बंद करने को कहते थे। लेकिन राधिका पीछे हटने को तैयार नहीं थी, और यही विवाद उसकी जान पर भारी पड़ गया।
पुलिस की जांच में सामने आया है कि राधिका और उसके पिता दीपक यादव के बीच पिछले 15 दिनों से लगातार बहस हो रही थी। विवाद की वजह थी एकेडमी बंद करना और विदेश जाने की अनुमति न मिलना। इसी मानसिक तनाव के बीच गुरुवार को दीपक ने अपनी लाइसेंसी रिवॉल्वर से रसोई में राधिका पर पांच गोलियां चला दीं। यह सब उस वक्त हुआ जब घर में बाकी सदस्य मौजूद थे।
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मां थी घर में, लेकिन बनी रही खामोश!
हत्या के वक्त राधिका की मां मंजू यादव भी घर पर थीं। उन्होंने पुलिस को कोई भी लिखित बयान देने से इनकार कर दिया। उन्होंने मौखिक रूप से सिर्फ इतना कहा कि उन्हें बुखार था और वह कमरे में लेटी थीं। लेकिन पुलिस को शक है कि मां को सबकुछ पता था, फिर भी वह चुप रहीं। अब पुलिस मां मंजू की भूमिका की भी जांच कर रही है – क्या वह मूक दर्शक बनी रहीं?
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हत्या से पहले भी कोर्ट के लिए कर रही थी तैयारी
राधिका की लगन का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि हत्या से ठीक एक दिन पहले उसने टेनिस कोर्ट की उपलब्धता को लेकर ग्राउंडमैन से बातचीत की थी। वह सुबह-शाम अभ्यास के लिए कोर्ट बुक करना चाहती थी। वह प्लानिंग में जुटी थी, उसे अंदेशा नहीं था कि उसके ही घर में उसकी जिंदगी खत्म कर दी जाएगी। वह सपनों को जी रही थी, मौत के बारे में सोच भी नहीं सकती थी।
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विंबलडन खेलने का सपना – अधूरा रह गया
राधिका यादव ने अपने फिजियोथेरेपिस्ट डॉ. मनोज और कोच से कई बार कहा था कि उसका सपना है विंबलडन में भारत का प्रतिनिधित्व करना। उसने खुद को एक प्रोफेशनल एथलीट की तरह तैयार किया था। लेकिन परिवार और समाज के दबाव ने उसका हौंसला तोड़ दिया। घर की दीवारें जहां सपनों को उड़ान मिलनी थी, वहीं दीवारें उसकी जिंदगी का आखिरी पड़ाव बन गईं।
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गांव के उकसावे और मां की चुप्पी की होगी जांच
अब पुलिस की नजर गांव के उन लोगों पर है जो दीपक यादव को बार-बार राधिका के खिलाफ भड़काते थे। पुलिस का मानना है कि समाज का दबाव इस मर्डर की बड़ी वजह बना। साथ ही मां मंजू यादव की भूमिका पर भी सवाल हैं। उन्होंने क्यों चुप्पी साधी? क्यों बेटी को नहीं बचाया? क्या राधिका की हत्या महज पारिवारिक क्रोध थी या एक प्री-प्लान्ड क्राइम?