
गांधीनगर। गुजरात राज्य वर्ष 2035 में अपनी स्थापना के ऐतिहासिक 75 वर्ष पूरे करेगा। इस अवसर को विशेष बनाने के लिए गुजरात सरकार ने आने वाले एक दशक के विकास की दिशा तय करने वाला दस्तावेज ‘गुजरात@75 : एजेंडा फॉर 2035’ जारी किया है।
मुख्यमंत्री श्री भूपेंद्र पटेल ने गांधीनगर स्थित महात्मा मंदिर में इस दस्तावेज का अनावरण किया। उन्होंने कहा कि यह दस्तावेज गुजरात की अब तक की उपलब्धियों का उत्सव मनाने के साथ ही आने वाले समय में राज्य की नई ऊंचाइयों की रूपरेखा भी पेश करता है। यह प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के ‘विकसित भारत@2047’ विजन के अनुरूप है।
मुख्यमंत्री ने बताया कि यह एजेंडा अगले दशक में गुजरात के हर नागरिक के लिए ‘अर्निंग वेल, लिविंग वेल’ यानी बेहतर कमाई और बेहतर जीवन के लक्ष्य को हासिल करने पर केंद्रित है।
‘एजेंडा फॉर 2035’ दस्तावेज में गुजरात के 75वें वर्ष के लक्ष्यों और उन्हें पूरा करने की रणनीतियों का विस्तृत विवरण है। इसका उद्देश्य राज्य में स्वास्थ्य, शिक्षा, कौशल विकास, उद्यमिता, बुनियादी ढांचा निर्माण और पर्यावरणीय स्थिरता जैसे प्रमुख क्षेत्रों में तेज़ी लाना है।
राज्य सरकार का फोकस संतुलित और समावेशी विकास पर है ताकि हर जिले में समान अवसर और विकास सुनिश्चित हो सके। यह एजेंडा गुजरात की ‘समृद्ध राज्य, समर्थ नागरिक’ की प्रतिबद्धता को स्पष्ट रूप से दर्शाता है।
गुजरात सरकार ने युवाओं को सशक्त बनाने के लिए शिक्षा और कौशल विकास पर विशेष ध्यान देने की घोषणा की है। वर्ष 2035 तक राज्य के हर बच्चे को आधुनिक और भविष्य-उन्मुख शिक्षा उपलब्ध कराई जाएगी। 7500 स्कूलों में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) आधारित शिक्षा शुरू होगी। 75 एडवांस्ड स्किल इंस्टीट्यूट की स्थापना की जाएगी। इन पहलों से 75 लाख नई नौकरियों के सृजन का लक्ष्य रखा गया है।
राज्य सरकार का उद्देश्य हर नागरिक को गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य देखभाल उपलब्ध कराना है। इसके लिए-
इन प्रयासों से गुजरात का स्वास्थ्य तंत्र और अधिक मजबूत बनेगा।
गुजरात ने स्वच्छ ऊर्जा और ग्रीन डवलपमेंट को प्राथमिकता दी है।
राज्य में किसानों की आय बढ़ाने के लिए फसल की गुणवत्ता सुधार, मूल्यवर्धन और कृषि-प्रसंस्करण (Agro Processing) को बढ़ावा दिया जाएगा। इससे ग्रामीण समृद्धि को गति मिलेगी और गांवों में रोजगार के अवसर भी बढ़ेंगे।
गुजरात का लक्ष्य देश का अग्रणी ग्रीन एनर्जी स्टेट बनना है। अगले दशक में राज्य में हाइड्रोजन प्लांट, 75 गीगावाट पवन ऊर्जा क्षमता, और 7500 इलेक्ट्रिक बसें शुरू की जाएंगी। सौर ऊर्जा के व्यापक उपयोग पर भी बल दिया जाएगा। इन पहलों से न केवल पर्यावरण संरक्षण होगा, बल्कि हजारों नए रोजगार भी सृजित होंगे।
वर्ष 2035 तक गुजरात को इनोवेशन और उद्यमिता के नए केंद्र के रूप में स्थापित किया जाएगा। राज्य स्टार्टअप्स और उद्यमियों को बढ़ावा देकर भारत का Innovation Powerhouse बनेगा, जिससे नई तकनीकों और विचारों को प्रोत्साहन मिलेगा।
गुजरात सरकार ने 7.5 लाख करोड़ रुपये के निवेश से राज्य के बुनियादी ढांचे को सशक्त बनाने का लक्ष्य रखा है। यह निवेश सड़क, सिंचाई, बंदरगाह, परिवहन, जल और ऊर्जा आपूर्ति जैसे क्षेत्रों में किया जाएगा, जिससे राज्य का आर्थिक आधार और मजबूत होगा।
गुजरात का यह विजन दस्तावेज ‘4I’ मॉडल पर आधारित है-
यह मॉडल आने वाले दशक के लिए नीति निर्धारण और उसके प्रभावी क्रियान्वयन का स्पष्ट मार्गदर्शन देता है।
‘गुजरात@75 : एजेंडा फॉर 2035’ दस्तावेज को गुजरात राज्य इंस्टीट्यूशन फॉर ट्रांसफॉर्मेशन (GRIT) ने तैयार किया है। इसमें गुजरात सोशल इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट सोसाइटी (GSIDS), गुजरात इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट बोर्ड (GIDB), गुजरात स्टूडेंट स्टार्टअप एंड इनोवेशन हब (i-Hub), उच्च शिक्षा विभाग और योजना एवं प्रशासनिक सुधार प्रशिक्षण प्रभाग (ARTD) जैसे विभागों का योगदान रहा है।
यह दस्तावेज गुजरात को 2047 तक विकसित राज्य बनाने की दिशा में एक मील का पत्थर है और यह भारत में विकास और नवाचार को नई गति देगा।
यह भी पढ़ें
Commonwealth Games 2030: कॉमनवेल्थ स्पोर्ट एग्जीक्यूटिव बोर्ड ने की सिफारिश, अहमदाबाद में होगा आयोजन
‘मेरा देश पहले’ शो: गांधीनगर में नए भारत के रूपांतरण की प्रेरक कहानी, PM मोदी के यात्रा की एक झलक