उमेश पाल अपहरण मामले में अतीक अहमद को दोषी करार दिया गया। इस बीच तमाम अधिवक्ता वहां पर जूतों की माला लेकर पहुंचे। उनका कहना था कि वह अतीक अहमद को यह जूतों की माला पहनाना चाहते हैं।
प्रयागराज: उमेश पाल अपहरण के मामले में माफिया अतीक अहमद को एमपी-एमएलए कोर्ट ने दोषी करार दिया है। अतीक अहमद को कोर्ट के अंदर लाया गया तो वहां वकीलों ने जमकर नारेबाजी की। अधिवक्ताओं ने अतीक मुर्दाबाद और फांसी दो के नारे लगाए।
घटना के एक साल बाद दर्ज हुआ था मुकदमा
अतीक अहमद को 17 साल पुराने मामले में दोषी करार दिया गया है। 2007 में उमेश पाल के अपहरण का केस अतीक अहमद समेत 11 लोगों के खिलाफ दर्ज किया गया था। आरोप था कि 24 घंटे तक टॉर्चर करने के बाद उमेश पाल से अपने पक्ष में गवाही दिलवाई गई। इस मामले में घटना के एक साल बाद गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया था। इसी के बाद मामले में सुनवाई के दौरान ही 24 फरवरी 2023 को उमेश पाल की प्रयागराज में सरेआम हत्या कर दी गई थी।
जूतों की माला लेकर पहुंचे अधिवक्ता
उमेश पाल की हत्या के बाद जब अपहरण मामले में कोर्ट में अतीक अहमद की पेशी हुई तो अधिवक्ताओं की नाराजगी सामने आई। अधिवक्ताओं के द्वारा जमकर अतीक अहमद के खिलाफ नारेबाजी की गई। अतीक अहमद को जूतों की माला पहनाने के लिए अधिवक्ता वहां पर पहुंचे। हालांकि इस बीच सुरक्षा व्यवस्था पूरी तरह से चाक चौबंद नजर आई और अधिवक्ताओं को रोक लिया गया। वहीं कोर्ट परिसर में मौजूद लोगों ने जमकर नारेबाजी भी की।
अतीक अहमद को फांसी देने के लिए हुई नारेबाजी
मामले को लेकर कोर्ट की ओर से पहले ही चुनिंदा अधिवक्ताओं की लिस्ट जारी की गई थी जिन्हें अंदर आने की अनुमति थी। वहीं इस बीच जैसे ही उमेश पाल अपहरण मामले में अतीक को दोषी करार दिया गया तो अतीक अहमद को फांसी दो के नारे लगाए जाने लगे। जिसके बाद अधिवक्ताओं से भी शांत रहने की अपील की गई। मौके पर मौजूद पुलिस बल ने कोर्ट परिसर के बाहर भी लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की।