जानिए कैसे साधारण बैरक से अलग होती है तन्हाई बैरक, उमेश पाल हत्याकांड के बाद अतीक के भाई और बेटों को किया गया शिफ्ट

प्रयागराज में उमेश पाल हत्याकांड के बाद अतीक अहमद के भाई अशरफ और उनके जेल में बंद बेटों को तन्हाई बैरक में शिफ्ट कर दिया गया है। तन्हाई बैरक साधारण बैरक से अलग होती है।

प्रयागराज: उमेश पाल हत्याकांड को लेकर सामने आ रहे तथ्यों के बाद यूपी की जेलों ने बंद माफिया के करीबियों की बैरक बदल दी गई हैं। अतीक की बैरक क्यों बदली गई, साधारण बैरक और सिक्योरिटी बैरक में क्या बदलाव होता है इसको लेकर बाते चल रही हैं। प्रयागराज में हुए हत्याकांड के बाद अतीक अहमद के भाई अशरफ और उनके बेटों की बैरक को बदल दिया गया है।

फिल्मों से अलग होती है असल बैरक और जेल

Latest Videos

आपको बता दें कि किसी भी मामले में जब कोई जेल जात है उसको जेल प्रशासन एंट्री के बाद बैरक का अलॉटमेंट करता है। आमतौर पर फिल्मों में जैसी जेल की बैरक दिखाई जाती हैं और हर बैरक में एक कैदी होता है असल में इससे अलग होता है। जेल के अधिकारी बताते हैं कि जेल में बंदियों की संख्या अधिक होने के चलते हर कैदी को अलग बैरक में रखा जाए यह संभव नहीं है। यूपी के जेलों में 2 तरह की बैरक होती है। इसमें से एक आम बैरक और दूसरी हाई सिक्योरिटी बैरक होती है। हाई सिक्योरिटी बैरक को अमूमन तन्हाई बैरक के नाम से जाना जाता है। ऐसा कहने की वजह यही होती है कि कैदी हमेशा तन्हा यानी अकेला रहा।

आम बैरक में एक साथ रहते हैं कई कैदी

आम बैरक किसी बड़े आयताकार बरामदे की तरह होती है। इसमें दोनों ही ओर गद्दे और चटाई डालकर कैदी रहते हैं। इसमें कोई भी खिड़की नहीं होती। बैरक के कोने में एक छोटा सा बाथरूम होता है। एक बैरक में 50 से 150 कैदी रहते हैं। जेल में कैदियों के लिए एक समय भी निर्धारित किया जाता है। सुबह 7 बजे से 12 बजे तक और शाम 3 बजे से 8 बजे तक कैदी बैरक से बाहर निकलकर जेल परिसर में घूम सकते हैं। इस दौरान वह खेलकूद भी कर सकते हैं। जेल में कैदियों से मिलने के लइए आए मुलाकातियों के लिए भी समय होता है। वह सुबह से दोपहर तक ही खेल सकते हैं। हालांकि जब बैरक बंद होने का समय होता है तो सभी को अंदर जाना होता है। कैदियों की गिनती होती है। इसके बाद ही उन्हें बैरक से अंदर और बाहर किया जाता है।

आम बैरक से अलग होती है तन्हाई बैरक

तन्हाई बैरक को ही हाई सिक्योरिटी बैरक भी कहा जाता है। तन्हाई बैरक में भी साधारण कमरे ही होते हैं। इसमें उन कैदियों को रखा जाता है जो खतरनाक हो और उनसे दूसरे कैदियों को खतरा हो। तन्हाई बैरक की सबसे अलग बात है कि यहां कैदी अकेला ही रहता है। उसे आम बैरक की तरह से दूसरे कैदियों का साथ भी नहीं मिलता। उन्हें जेल परिसर में घूमने की भी इजाजत नहीं रहती है। तन्हाई बैरक से बाहर निकलने पर कैदी को बताना पड़ता है कि वो बाहर क्यों जा रहा है। उचित वजह बताने पर ही पहरेदार उसे जाने दिया जाता है। तन्हाई बैरक में रहने वाले कैदियों को सिर्फ खास रिश्तेदारों से ही मिलने की अनुमति होती है। समय-समय पर उसे भी रोक दिया जाता है।

उमेश पाल हत्याकांड: अतीक अहमद की पत्नी शाइस्ता समेत इन 8 के खिलाफ 13.75 लाख का इनाम

Read more Articles on
Share this article
click me!

Latest Videos

भारत के पहले केबल रेल पुल पर हुआ ट्रायल रन, देखें सबसे पहला वीडियो #Shorts
'INDIA' में रार! CM आतिशी ने कांग्रेस को दिया अल्टीमेटम, 24 घंटे का है समय । Kejriwal । Rahul Gandhi
अब पानी पर चीन करेगा कब्जा! भारत बांग्लादेश को होगी मुश्किल
LIVE🔴:भारत मंडपम में वीर बाल दिवस कार्यक्रम के दौरान पीएम मोदी का भाषण | PM Modi
AAP vs Congress : कांग्रेस के पास सिर्फ 24 घंटे, आप ने दी नई टेंशन #Shorts