सुबह उठते ही मोबाइल? जानें सेहत पर क्या होता है असर

सुबह उठते ही और रात को सोने से पहले मोबाइल देखना सेहत के लिए हानिकारक हो सकता है। यह नींद, मानसिक स्वास्थ्य और दैनिक जीवन को प्रभावित कर सकता है। विशेषज्ञ सलाह देते हैं कि उठने के बाद और सोने से पहले मोबाइल से दूरी बनाए रखें।

rohan salodkar | Published : Oct 10, 2024 6:16 AM IST

बेड टी (Bed Tea) की जगह अब मोबाइल (mobile) ने ले ली है। सुबह उठते ही मोबाइल हाथ में ले लेते हैं और उसमे कुछ देर स्क्रॉल करने के बाद ही बिस्तर से उठते हैं। कई लोग तो सुबह उठकर एक बार मोबाइल पर रील्स स्क्रॉल करके ही फिर सो जाते हैं। रात को बिस्तर पर नींद आने तक मोबाइल इस्तेमाल करने वाले लोग सुबह उठकर हाथ मुँह धोने से पहले मोबाइल देखते हैं। रात में भी बीच-बीच में जागने पर मोबाइल देखने वालों की संख्या भी कम नहीं है। एक रिपोर्ट के अनुसार, 84 प्रतिशत भारतीय लोग जागने पर सबसे पहले मोबाइल ही देखते हैं।

मोबाइल के इतने आदी हो चुके हैं की बिना मोबाइल के एक मिनट भी रहना मुश्किल लगता है। सिर्फ़ युवा ही नहीं बच्चे और बुजुर्ग भी मोबाइल के दीवाने हो गए हैं। सुबह उठते ही और रात को सोने से पहले मोबाइल देखना सेहत के लिए हानिकारक होता है।

Latest Videos

 

विशेषज्ञों के अनुसार, सुबह आपका दिमाग आराम की स्थिति में होता है। आप एक स्वप्न जैसी अवस्था में होते हैं। आप जाग तो रहे होते हैं लेकिन पूरी तरह से सतर्क नहीं होते। इसे विशेषज्ञ डेल्टा अवस्था कहते हैं। इस समय आप मोबाइल का उपयोग करते हैं तो आराम की स्थिति में आपका दिमाग अचानक से सक्रिय हो जाता है। इसे बीटा अवस्था कह सकते हैं। इससे तनाव होता है। चिंता, बेचैनी बढ़ जाती है। यह व्यक्ति के पुरे दिन को ख़राब कर सकता है। उसके काम पर भी इसका असर पड़ता है। 

आजकल सुबह उठते ही मोबाइल इस्तेमाल करने का मुख्य कारण सोशल मीडिया है। लोग समाचार से लेकर मनोरंजन तक सब कुछ मोबाइल पर ही देखते हैं। मोबाइल से निकलने वाली नीली रोशनी आपकी नींद और संपूर्ण स्वास्थ्य को प्रभावित करती है। यह नीली रोशनी, लगभग 460 नैनोमीटर की तरंग दैर्ध्य वाली होती है। मोबाइल की रोशनी देखकर हमारा दिमाग धोखा खा जाता है और उसे लगता है कि अभी भी दिन है। इससे हमें अनिद्रा हो सकती है। यह मेलाटोनिन के उत्पादन को प्रभावित करता है। मेलाटोनिन एक हार्मोन है जो आपको सोने में मदद करता है। सोने से पहले स्मार्टफोन का उपयोग करने से शरीर नींद के लिए तैयार नहीं हो पाता है।

 

वैश्विक स्तर पर लोगों द्वारा मोबाइल इस्तेमाल करने की अवधि में काफी बदलाव आया है। 2014 से 2024 तक औसतन लोग 6 घंटे 23 मिनट मोबाइल इस्तेमाल करते थे। 2021 तक यह बढ़कर 6 घंटे 58 मिनट हो गया। 2022 में यह घटकर 6 घंटे 28 मिनट रह गया। हालांकि, 2024 तक इसके फिर से बढ़कर 6 घंटे 35 मिनट होने का अनुमान है। विशेषज्ञों के अनुसार व्यक्ति को उठते ही मोबाइल का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए। उठने के 30 मिनट से 1 घंटे बाद ही मोबाइल का इस्तेमाल करना चाहिए। रात को भी सोने से एक-दो घंटे पहले मोबाइल स्विच ऑफ कर देना चाहिए।   

Share this article
click me!

Latest Videos

हरियाणा में BJP ने तोड़ा 57 साल का रिकॉर्ड: फॉर्मूला हिट-60 नए कैंडिडेट्स में 34 जीते
'हाथ' से छूटा हरियाणा, अब अखिलेश ने कांग्रेस को दिखाए तेवर! । Haryana Election Result । Rahul Gandhi
LIVE : Presentation Ceremony of "70th National Film Awards"
मोदी कैबिनेट ने लिया बड़ा फैसला, जानें कब तक मिलता रहेगा मुफ्त राशन
हरियाणा चुनाव में हार के बाद बोलना भी कांग्रेस के लिए हो गया 'गुनाह'! चुनाव आयोग ने...