मिस्त्र के पर्यटन व पुरातत्व मंत्रालय ने 24 नवंबर को प्रेस विज्ञप्ति जारी कर इस अद्भुत खोज के बारे में बताया है।
ट्रेंडिंग डेस्क. इजिप्ट के नेर्कोपोलिस (Necropolis) में साइंटिस्ट्स को ऐसी ममी मिली हैं, जिनकी जीभ देखकर सब हैरान हैं। कई ममी के मुंह में सोने की जीभ, तो कई की हड्डियों पर सोने की परत चढ़ी पाई गई है। साइंटिस्ट्स इस बात को लेकर हैरान हैं कि आखिर क्यों असली जीभ काटकर उस दौर में सोने की जीभ लगा दी जाती थी।
मिस्त्र के पुरातत्व मंत्रालय ने दी जानकारी
मिस्त्र के पर्यटन व पुरातत्व मंत्रालय ने 24 नवंबर को प्रेस विज्ञप्ति जारी कर इस अद्भुत खोज के बारे में बताया है। मंत्रालय ने बताया कि पिछले साल भी एक ऐसी ही ममी मिली थी, जिसपर सोना चढ़ा हुआ था जिसके बाद साइंटिस्ट्स इसकी वजह जानने में लगे हुए थे। इसी बीच मिस्त्र की एक प्राचीन मान्यता का भी जिक्र किया गया जिसके मुताबिक एक खास वजह से मौत के बाद मृतक की जीभ काटकर सोने की लगा दी जाती थी।
क्या इसलिए लगाई जाती थी सोने की जीभ?
मिस्त्र की एक प्राचीन मान्यता के मुताबिक मृतक की असली जीभ काटकर सोने की जीभ इसलिए लगा दी जाती थी, जिससे मृतक देवता ओसिरिस (Osiris) से बात कर सके। मिस्त्र में ओसिरिस को मृत्यु का देवता और लॉर्ड ऑफ द अंडरवर्ल्ड (Lord of the Underworld) कहा जाता है। मान्यता के मुताबिक देवता ओसिरिस ही मृत्यु के बाद न्याय करते हैं। इसी वजह से मृतक को सोने की जीभ लगाई जाती थी, जिससे वह मृत्यु के बाद देवता ओसिरिस से दया की भीख मांग सके।
फिर हर ममी में क्यों नहीं सोने की जीभ?
साइंटिस्ट्स इस बात से हैरान हैं कि अगर सोने की जीभ देवता ओसिरिस से बात करने के लिए लगाई जाती थी, तो इजिप्ट में ऐसी सिर्फ गिनी-चुनी ममी ही क्यों मिलीं? बाकी ममी के साथ ऐसा क्यों नहीं किया गया? गौरतलब है कि इजिप्ट में अंतिम संस्कार के दौरान भी सोने के आभूषणों और उससे जुड़े बर्तनों का काफी महत्व रहा है। मिस्त्र में सोने को बेहद पवित्र माना जाता है, यहां के लोग सोने को सूर्य देवता (Ra) की चमड़ी का हिस्सा मानते हैं। मिस्त्र में प्राचीन काल से सूर्य देवता (Ra) को सभी देवताओं में प्रमुख माना जाता रहा है, वहीं ओसिरिस को अंधकार का देवता।
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