अमेरिका समेत 11 देशों के 247 कलाकार करेंगे सुंदरकांड का पाठ, यूपी में सीखेंगे रामलीला का मंचन

अमेरिका समेत 11 देशों के 247 कलाकारों ने रामलीला का मंचन सीखने के लिए उत्तर प्रदेश संस्कृति विभाग के पास आवेदन भेजा है। उत्तर प्रदेश सरकार रामायण पर इन्साइक्लोपीडिया बनवाने के साथ ही अब विदेशियों को रामलीला के मंचन की बारीकियां सिखाएगी।

Asianet News Hindi | Published : Jun 25, 2020 8:05 AM IST / Updated: Jun 25 2020, 01:56 PM IST

अयोध्या(Uttar Pradesh). सालों चले रामजन्मभूमि विवाद का हल निकलने के बाद अब कई देशों के लोगों में मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम के बारे में जानने की उत्सुकता देखी जा रही है। अमेरिका समेत 11 देशों के 247 कलाकारों ने रामलीला का मंचन सीखने के लिए उत्तर प्रदेश संस्कृति विभाग के पास आवेदन भेजा है। उत्तर प्रदेश सरकार रामायण पर इन्साइक्लोपीडिया बनवाने के साथ ही अब विदेशियों को रामलीला के मंचन की बारीकियां सिखाएगी। यह विदेशी सुंदरकांड का पाठ भी करेंगे। यह सारा कुछ केंद्र सरकार के संस्कृति मंत्रालय के आर्थिक सहयोग से अयोध्या शोध संस्थान के संयोजन में होने वाली ऑनलाइन रामलीला प्रशिक्षण कार्यशाला में होगा। अयोध्या शोध संस्थान उत्तर प्रदेश संस्कृति विभाग के अधीन संचालित है।

अयोध्या मामले पर फैसला आने के बाद से देश ही नहीं बल्कि विदेशों से भी लोगों का आकर्षण अयोध्या व श्री राम से जुड़ी हुई चीजों में बढ़ा है। संस्कृति मंत्रालय द्वारा राम लीला के ऑनलाइन प्रशिक्षण के लिए अमेरिका समेत 11 देशों के 247 विदेशी कलाकारों ने भी आवेदन किया है। इसके लिए अब तक इजरायल, वेनेजुएला, मारीशस, सूरीनाम, त्रिनीडाड, गुयाना और फिजी के लोगों ने पंजीकरण करवाया है। इसमें श्रीलंका, थाईलैण्ड, इण्डोनेशिया और अमेरिका के लोगों के भी आवेदन आ रहे हैं। हर रविवार की शाम को 7 बजे से  होने वाली इस आनलाइन प्रशिक्षण कार्यशाला के आयोजन में मारीशस रामायण सेंटर और दीवालीनगर त्रिनीडाड की अहम भूमिका है।

दीपोत्सव में भी शामिल होंगे विदेशी कलाकार 
अयोध्या शोध संस्थान के निदेशक डॉ योगेन्द्र प्रताप सिंह ने मीडिया को बताया कि कार्यशाला में प्रशिक्षण प्राप्त कर बेहतर प्रस्तुतियां करने वाले कुछ विदेशियों को इस बार दीपावली में अयोध्या में होने वाले दीपोत्सव में कार्यक्रम के लिए भी आमंत्रित करने का प्रस्ताव है। बीते रविवार तक इस कार्यशाला के लिए कुल 247 विदेशी पंजीकरण करवा चुके थे। कार्यशाला के लिए देवरिया में मानवेन्द्र त्रिपाठी ने एक सेंटर विकसित किया है। जहां वह रामलीला के विभिन्न प्रसंगों के मंचन, गायन के वीडियो शूट करते हैं और यू-ट्यूब पर उन वीडियो की क्लीपिंग के साथ रामलीला मंचन के विभिन्न आयामों जैसे वेशभूषा, मेकअप, सेट डिजायनिंग, अभिनय, गायन का प्रशिक्षण देते हैं। 


 

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