यूपी के अयोध्या स्थित साकेत महाविद्यालय से एक ऐसा अजीबोगरीब मामला सामने आया, जिसे जानकर आपके होश उड़ जाएंगे। मिली जानकारी के अनुसार, अयोध्या स्थित साकेत महाविद्यालय के चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी ने पीने के लिए पानी मांगने पर शिक्षकों को पानी की जगह पर तेजाब पिला दिया।
अयोध्या: भीषण गर्मी के बीच लोगों में पानी की चाहत बेहद बढ़ जाती है। ऐसे में स्कूल में पढ़ाई के दौरान शिक्षक भी भरपूर पानी पीते हैं। लेकिन यूपी के अयोध्या स्थित साकेत महाविद्यालय से एक ऐसा अजीबोगरीब मामला सामने आया, जिसे जानकर आपके होश उड़ जाएंगे। मिली जानकारी के अनुसार, अयोध्या स्थित साकेत महाविद्यालय के चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी ने पीने के लिए पानी मांगने पर शिक्षकों को पानी की जगह पर तेजाब पिला दिया। शिक्षकों ने कर्मचारी की ओर से दिए गए पानी की जैसे ही एक घूंट ली, उन्हे तुरंत अहसास हुआ कि यह पानी नहीं बल्कि कुछ और है। बताया जा रहा है कि तेजाब पीने वाले चार शिक्षकों की हालत बिगड़ने पर उन्हें मेडिकल कॉलेज दर्शननगर में भर्ती कराया गया। जहां इलाज व जांच के बाद उन्हें घर भेज दिया गया है। इतना ही नहीं, तेजाब पीने वाले शिक्षकों में से एक शिक्षक की हालत गंभीर बनी हुई है, जिनका इलाज किया जा रहा है।
जिसे पानी समझकर पिया वह निकला तेजाब
पूरा मामला अयोध्या स्थित साकेत महाविद्यालय का है। जहां बीते बुधवार की दोपहर तकरीबन तीन बजे साकेत महाविद्यालय के मनोविज्ञान विभाग के शिक्षक डॉ. सुधीर राय, लॉ विभाग के डॉ. अशोक राय, अंग्रेजी विभाग के जन्मेजय तिवारी व उर्दू विभाग के डॉ. मुजफ्फर मेंहदी ने परीक्षा ड्यूटी के बाद महाविद्यालय के कर्मचारी चंद्रप्रकाश सिंह से पानी मांगा। शिक्षकों की बात मानकर वह रोज की तरह गिलास भरकर लाया। शिक्षकों ने भी पानी समझकर पी लिया लेकिन एक घूंट पीते ही उन्हें अहसास हुआ कि यह पानी नहीं तेजाब है। घटना के बाद महाविद्यालय प्रशासन में हड़कंप मच गया।
तेजाब पीने से जले शिक्षकों के अंग
शिक्षकों को पानी की जगह तेजाब पिलाने की बात सामने आते ही महाविद्यालय प्रशासन सदमे में आ गया। वहीं, शिक्षकों ने नजदीकी श्रीराम अस्पताल जाकर अपनी जांच कराई। अस्पताल में मौजूद डॉक्टरों ने शिक्षकों को इंजेक्शन लगाया और जांच की। जिसके बाद सभी घर चले गए। बुधवार देर रात में चारों शिक्षकों की हालत दोबारा से खराब होने लगी। जैसे तैसे रात काटने के बाद गुरुवार सुबह सभी शिक्षक दर्शननगर मेडिकल कॉलेज पहुंचे। चिकित्सकों ने इंडोस्कोपी के जरिए शिक्षकों की जांच की गई तो पता चला कि तेजाब पीने के कारण डॉ. सुधीर राय व डॉ. मुजफ्फर मेंहदी के अंदर के अंग 15 प्रतिशत जल चुके हैं। डॉ. अशोक राय को करीब 60 प्रतिशत नुकसान हुआ है।
कर्मचारी के बचाव में उतरे प्राचार्य
चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारी की ओर से की गई इस लापरवाही पर लोग आक्रोशित होकर अलग अलग सवाल खड़े कर रहे हैं। वहीं, साकेत महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ. अभय कुमार सिंह का कहना है कि कर्मचारी ने जान-बूझकर ऐसा नहीं किया है। बल्कि गलती से उसने पानी समझकर तेजाब गिलास में भरकर दे दिया होगा। उन्होंने दावा किया कि शिक्षकों की हालत ठीक है, कोई चिंताजनक बात नहीं है। कर्मचारी के विरुद्ध कार्रवाई के सवाल पर कहा कि जब उसने जानबूझकर ऐसा नहीं किया तो कार्रवाई की जरूरत नहीं है, जो भी घटना हुई वह अनजाने में हुई है।