यूपी में दूसरी बार सत्ता संभालने के बाद सीएम योगी के तेवर तल्ख होते दिख रहे है। भ्रष्टाचार को लेकर ज़ीरो टॉलरेंस की नीति पर योगी किसी भी तरह की कोई कोताही बरतने के मूड में नही है। इसी सिलसिले में गाजियाबाद के एसएसपी को निलंबित कर दिया गया है।
गाज़ियाबाद: यूपी की सत्ता संभालते ही सीएम योगी एक्शन में आ गए है। सीएम योगी ने भ्रष्ट ऑफिसर पर हंटर चलाना शूरु कर दिया है। इसी सिलसिले में पुलिस उपमहानिरीक्षक डीआईजी (DIG)विजिलेंस एलआर कुमार (LR KUMAR)को एसएसपी गाजियाबाद का प्रभार लेने के आदेश जारी किए गए है। बता दें कि एलआर कुमार की पोस्टिंग अस्थाई है। जानकारी के मुताबिक एलआर कुमार ही अगले आदेश तक गाजियाबाद के डीआईजी/एसएसपी रहेंगे।
यूपी के पुलिस महानिरीक्षक ने जारी की चिट्ठी
इस मसले पर यूपी के पुलिस महानिरीक्षक कानून व्यवस्था की ओर से शुक्रवार को एक चिट्ठी जारी की गई है। चिट्ठी में कहा गया है कि 'गाजियाबाद जिले में अपराध नियंत्रण एवं कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए अस्थायी रूप से आपकी (एलआर कुमार) ड्यूटी तत्कालिक प्रभाव से अगले आदेशों तक लगाई जाती है। आगे कहा गया कि आप (एलआर कुमार) तत्काल जिले में पहुंचकर मुख्यालय को अपने आने की जानकारी दें और वहां मौजूद अपने दायित्वों का निर्वहन करें। हालांकि बता दें कि लापरवाही और भ्रष्टाचार के आरोप में गाजियाबाद के एसएसपी पवन कुमार को गुरुवार को सस्पेंड कर दिया गया था। उनकी जगह पर अब एलआर कुमार को एसएसपी गाज़ियाबाद की जिम्मेदारी सौंपी गई है।
गाज़ियाबाद में पिछले ढाई महीने में हुई थी 100 बड़ी वारदातें
गाज़ियाबाद के एसएसपी के निलंबन के पीछे की वजह को टटोलें तो पता चलता है कि पिछले ढाई महीने में हुई 100 बड़ी वारदातें हैं। बता दें कि एसएसपी पवन कुमार ने अगस्त 2021 में पद संभाला था। दरअसल एसएसपी पवन कुमार को सस्पेंड करने के पीछे का कारण बताया जा रहा है कि उनके कार्यकाल में कर्नाटक के चावल कारोबारी से 55 लाख रुपये की लूट हो या फिर गाज़ियाबाद के अलग-अलग इलाकों में गोवंश मिलने का मामला हो। पवन कुमार के कार्यकाल के दौरान गौ-रक्षा दल ने भी पुलिस के काम करने के तरीके को लेकर लगातार सवाल उठाए और पशु तस्करों पर कार्रवाई ना होने के बात कही थी।