योगी सरकार बिजली के संकट से जल्द ही छुटकारा दिलाने के लिए पूरी तरह से लामबंद है। इसको लेकर माना जा रहा है कि एक मई से ही लोगों को बिजली की समस्या से छुटकारा मिल जाएगा। सरकार ने दो हजार मेगावाट अतिरिक्त बिजली का इंतजाम किया है।
लखनऊ: भीषण गर्मा के चलते बिजली की मांग में लगातार बढ़ोत्तरी देखी जा रही है। वहीं इस बीच हो रही कटौती से भी लोग परेशान दिखाई पड़ रहे हैं। अतिरिक्त मांग के बीच योगी सरकार ने एक मई से तकरीबन दो हजार मेगावाट अतिरिक्त बिजली का इंतजाम किया है। हिमाचल प्रदेश, सिक्किम से 400 मेगावाट हाइड्रो पावर जुटाने के साथ ही बैंकिंग (पूर्व में दी गई बिजली के बदले में बिजली की व्यवस्था) के जरिए 325 मेगावाट विद्युत मध्य प्रदेश से मिलने की संभावनाएं जताई जा रही हैं। इसी के साथ 283 मेगावाट बिजली राजवस्था से मिलने की संभावना है। इसी के साथ बिडिंग के जरिए भी 430 से 950 मेगावाट बिजली की व्यवस्था भी की जा रही है।
आपूर्ति सामान्य रखने के लिए युद्धस्तर पर प्रयास जारी
आपको बता दें कि प्रदेश में केंद्रीय सेक्टर से 332 मेगावाट, राज्य सेक्टर से 118 मेगावाट इसी के साथ अन्य श्रोतों से 331 मेगावाट की उपलब्धता को 29 अप्रैल से बढ़ी है। ज्ञात हो कि वर्तमान में प्रदेश की मांग तकरीबन साढ़े बाइस हजार मेगावाट तक पहुंच चुकी है। हालांकि इसके बावजूद भी यूपी पावर कार्पोरेशन प्रदेशभर में बिजली आपूर्ति को सामान्य रखने के लिए युद्धस्तर पर प्रयासरत है। बढ़ती हुई मांगों को देखते हुए पावर कार्पोरेशन की ओऱ से रिकार्ड विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित की जा रही है। इस कड़ी में जो बिजली उत्पादन की इकाइयां तकनीकि या फिर अन्य कारणों के चलते बंद हैं उन्हें भी चालू करने का प्रयास किया जा रहा है। इसी के साथ आपूर्ति को लेकर लगातार मॉनीटरिंग भी की जा रही है।
लगातार की जा रही मॉनीटरिंग
गौरतलब है कि सभी वितरण निगमों में कंट्रोल रूम 24 घंटे कार्यरत है। बेहतर सुविधाओं को लेकर टोल फ्री नंबर 1912 की मॉनीटरिंग भी लगातार की जा रही है। इसी के साथ अन्य हेल्पलाइन नंबरों पर आने वाली शिकायतों का निस्तारण भी हो रहा है।