राकेश टिकैत की ओऱ से बड़ा बयान देते हुए कहा गया कि देश के संविधान को अलमारी में बंद कर दिया गया है। एक दिन ऐसा भी आएगा जब ट्रैक्टर बुलडोजर का मुकाबला करेंगे। अगर 10 साल पुराने ट्रैक्टर को बंद करना पड़ा तो किसान सड़कों पर उतरेंगे।
मुजफ्फरनगर: भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने कहा है कि 10 साल पुराने ट्रैक्टर को बंद करना पड़ा तो किसान सड़कों पर उतर आएंगे। इसके बाद बुलडोजर के सामने ट्रैक्टर ही खड़े होंगे। पहले ही दिल्ली में चार लाख ट्रैक्टर इकट्ठा होकर सरकार को किसानों की ताकत दिखा चुके हैं। जिन अधिकारियों के कार्यकाल में अतिक्रमण हुआ है उनके खिलाफ कार्रवाई होनी ही चाहिए।
कई मुद्दों पर काम करने की जरूरत
कलेक्ट्रेट में पत्रकारों से वार्तालाप करते हुए राकेश टिकैत ने कहा कि संविधान को अलमारी के भीतर बंद कर दिया गया है। जहांगीरपुरी जैसे मामलों को लेकर देश की छवि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी खराब हुई है। किसी भी एक बिरादरी को टारगेट नहीं किया जाना चाहिए। इन जैसी घटनाओं से देश का विकास रुक जाता है। इसी के साथ आपस में नफरत फैलती है और सांप्रदायिक घटनाएं होती हैं। इन चीजों को छोड़कर सभी को अपने कामों पर ध्यान देना चाहिए। कई ऐसे मुद्दे हैं जिन पर सरकारों को काम करने की जरूरत है। इसमें बेरोजगारी, महंगाई और विकास प्रमुख हैं। बुलडोजर ठीक है और वह सही काम कर रहा है लेकिन एक बात का ध्यान रखा जाना चाहिए कि नफरत की वजह से बुलडोजर न चले।
बंद करने पड़े 10 साल पुराने टैक्ट्रर तो सड़कों पर उतरेंगे
किसान अपने ट्रैक्टर से 40-50 साल तक खेती कर सकता है। हालांकि अगर एनसीआर में दस साल पुराने ट्रैक्टर ही बंद करने पड़े तो किसान इसके खिलाफ सड़कों पर उतरेंगे। कभी न कभी बुलडोजर का सामना ट्रैक्टर ही करेगा। राकेश टिकैत ने सीधे तौर पर यहां सरकार को चेतावनी दी है।