अयोध्या: शिया वक्फ बोर्ड को मिली जमीन तो बनेगा बड़ा हॉस्पिटल; कैंपस में मंदिर, मस्जिद के साथ गुरुद्वारा भी

शिया सेंट्रल वक्फ बोर्ड अयोध्या मामले में सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर सहर्ष सहमति जताई है। शिया वक्फ बोर्ड साल 1946 में सुन्नी वक्फ बोर्ड के खिलाफ हारे गए मुकदमे में भी पुनर्विचार याचिका दाखिल नहीं करेगा

Asianet News Hindi | Published : Nov 28, 2019 7:39 AM IST

लखनऊ(Uttar Pradesh).  शिया सेंट्रल वक्फ बोर्ड अयोध्या मामले में सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर सहर्ष सहमति जताई है। शिया वक्फ बोर्ड साल 1946 में सुन्नी वक्फ बोर्ड के खिलाफ हारे गए मुकदमे में भी पुनर्विचार याचिका दाखिल नहीं करेगा। बोर्ड की एक अहम बैठक में इसका फैसला लिया गया है। बोर्ड के चेयरमैन वसीम रिजवी ने साफ़ किया कि राष्ट्रहित व देश में के माहौल को अच्छा बनाए रखने के लिए ये फैसला लिया गया है। 

पुनर्विचार याचिका दायर करने से खराब होगा देश का माहौल 
बोर्ड के चेयरमैन वसीम रिजवी के मुताबिक़ साल 1946 में शिया वक्फ बोर्ड और सुन्नी वक्फ बोर्ड के बीच एक मुकदमा लोअर कोर्ट में चल रहा था। जिसमे कोर्ट ने ये कहा था कि बाबरी मस्जिद मीरबाकी ने बनवाई थी जो शिया कमांडर था। लेकिन मस्जिद में कुछ ऐसे साक्ष्य मिले हैं जिससे ये मस्जिद सुन्नी मुसलमानो की प्रतीत होती है।  जिसके बाद कोर्ट ने शिया वक्फ बोर्ड की अर्जी खारिज कर दी थी। उस मामले में शिया वक्फ बोर्ड उच्च न्यायलय में रिव्यू पिटीशन दाखिल नहीं करेगा। 

Latest Videos

सुन्नी वक्फ बोर्ड नहीं लेगा जमीन तो हम करेंगे दावा 
शिया वक्फ बोर्ड के वरिष्ठ सदस्य अशफाक हुसैन जिया ने बताया कि बोर्ड की बैठक में निर्णय लिया गया है कि अगर सुन्नी वक्फ बोर्ड अयोध्या में जमीन लेने से इंकार करता है तो हम कोर्ट के समक्ष पेश होंगे और अपना दावा पेश करेंगे। उन्होंने बताया कि शिया वक्फ बोर्ड ने ये फैसला लिया है कि अगर उन्हें जमीन मिलती है तो वह श्री राम ट्रस्ट के नाम से एक बड़ा हॉस्पिटल खोलेंगे। इस हॉस्पिटल के परिसर में मंदिर,मस्जिद,गुरुद्वारा और चर्च सभी होंगे। जिससे वहां सर्वधर्म समभाव का संदेश जाए। 

कोर्ट ने भी माना है कि मीरबाकी शिया कमांडर था 
बोर्ड के सदस्य अशफाक हुसैन के मुताबिक कोर्ट ने भी ये बात स्वीकार किया है कि साक्ष्यों के मुताबिक इस मस्जिद को शिया कमांडर मीरबाकी ने बनवाया था। ऐसे में हमारा हक़ इस जमीन पर बनता है। लेकिन सर्वोच्च न्यायालय का निर्णय सर्वमान्य व स्वागत योग्य है। इसलिए इस मामले में कोई टिप्पणी नहीं कर सकते। लेकिन अगर सुन्नी वक्फ बोर्ड अयोध्या में कोर्ट के निर्णय के अनुसार 5 एकड़ जमीन लेने से इंकार करता है तो शिया वक्फ बोर्ड का दावा इस जमीन पर बनता है ,इसके बाद हम कोर्ट में जमीन को लेकर दावा करेंगे। 
 

Share this article
click me!

Latest Videos

कांग्रेस को गणपति पूजा से भी है नफरत #Shorts
'क्या बेटा इतना बड़ा हो गया जो मां को आंख दिखाए' मोहन भागवत से Arvind Kejriwal ने पूछे 5 सॉलिड सवाल
कौन सी चीज को देखते ही PM Modi ने खरीद डाली। PM Vishwakarma
Odisha Case: Rahul Gandhi ने Army अधिकारी की मंगेतर से थाने में बर्बरता पर साधा निशाना
पितरों को करना है प्रसन्न, घर में ही कर सकते हैं ये 10 उपाय । Pitra Paksh