योगी सरकार के मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य ने प्रियंका गांधी के ट्वीट पर पलटवार किया है। प्रियंका गांधी के इस बयान पर मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य ने प्रियंका को नसीहत दी है।
लखनऊ (Uttar Pradesh). योगी सरकार के मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य ने प्रियंका गांधी के ट्वीट पर पलटवार किया है। उन्होंने कहा- प्रियंका गांधी कोई अदालत नहीं है, जिसके कहने पर किसी की गिरफ्तारी हो जाए। योगी सरकार के श्रम, रोजगार व सेवायोजन विभाग के मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य ने hindi.asianetnews.com से बात की। इस दौरान उन्होंने सरकार के ढाई साल के कार्यों की सराहना व विपक्षी पार्टी के नेताओं के बयानों पर करारा प्रहार किया।
सवाल- प्रियंका गांधी ने एक ट्वीट किया है जिसमें उन्होंने लिखा है- बीजेपी सरकार की चमड़ी इतनी मोटी है कि जब तक पीड़िता को ये ना कहना पड़े कि मैं आत्मदाह कर लूंगी, तब तक सरकार कोई एक्शन नहीं लेती। यह तो जनता और पत्रकारिता की ताकत थी कि एसआईटी को बीजेपी नेता चिन्मयानन्द को गिरफ्तार करना पड़ा। इसपर आपका क्या कहना है?
जवाब - मैं प्रियंका गांधी जी को कहना चाहता हूं कि वो न तो अदालत हैं और ना ही कोई जज। जिसके कहने पर किसी की गिरफ्तारी हो जाए। वो कानून व्यवस्था की कोई संवैधानिक संस्था नहीं हैं। ऐसे में किसी व्यक्ति के चाहने से न्यायपालिका काम नहीं करेगी। कानून अपने तरीके से काम करेगा। साक्ष्यों-सबूतों के आधार पर काम करेगा। जांच कर रही एजेंसी ने जब जांच के बाद लड़की का आरोप सही पाया तब स्वामी चिन्मयानन्द की गिरफ्तारी हुई।
सवाल - अखिलेश यादव ने कांफ्रेंस कर वर्तमान सरकार की कानून व्यवस्था पर सवाल उठाए हैं?
जवाब - अखिलेश यादव जी को मैं कहना चाहता हूं कि पहले तो वो कुछ बोलने से पहले अपने दामन में झांक लें। उनकी सरकार में पूरा प्रदेश गुंडे-माफियाओं का चारागाह बन कर रह गया था। हर तरफ भय और आतंक का माहौल था। यहां तक कि लड़कियों ने अपने स्कूल- कॉलेज, बाजार जाना बंद कर दिया था। जो लड़कियां,महिलाएं नौकरी में थीं, वो डर से ऑफिस जाना बंद कर दी थीं। लोग घर से निकलने में कई बार सोचते थे। अखिलेश यादव की सरकार में लड़कियों का रेप कर हत्या के बाद पेड़ पर टांग देने की नई प्रथा शुरू हुई थी। 1100 पुलिस कर्मियों की हत्या गुंडे माफियाओं की गोली से उस सरकार में ही हुई थी। सारे गुंडे-माफिया सरकार की गैलरी में टहलते देखे जाते थे। ऐसी सरकार चलाने वालों को कानून व्यवस्था पर बोलने का कोई हक़ नहीं है।
सवाल - योगी सरकार के ढाई साल का कार्यकाल पूरा हुआ, सरकार जनता की अपेक्षाओं पर कितनी खरी उतरी ?
जवाब - मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अगुवाई में हमारी सरकार प्रदेश के हर उस वंचित-शोषित तक उनकी जरूरतों पर खरी उतरी, जहां आज तक कोई सरकार नहीं पहुंच सकी। हमने उज्ज्वला योजना के माध्यम से गरीब तबके, जहां लकड़ी के चूल्हे पर खाना बनता था उनके आंसू पोंछे। सरकार की संवेदनशीलता इसी से उजागर होती है कि शपथ लेने के बाद पहली बैठक में 86 लाख किसानों के फसली ऋण को माफ़ करने का निर्णय लिया। उन्होंने जनता के बीच में जाकर अपनी जवाबदेही सुनिश्चित किया।
सवाल - आपके अनुसार सरकार की ऐसी कौन सी योजनाएं लागू हुईं जिसे हम इस ढाई साल के कार्यकाल को सफलतम कार्यकाल कह सकते हैं ?
जवाब - सरकार ने हर वर्ग के बारे में सोच कर अपनी योजनाओं का क्रियान्वयन किया है। हमने 86 लाख किसानों का ऋण माफ़ करने का निर्णय लिया। उज्ज्वला योजना में लगभग 55 लाख घरों में गैस चूल्हा निःशुल्क पहुंचाया। 3 लाख से अधिक गरीब परिवारों में शौचालय का निर्माण कराया गया। 98 लाख परिवारों को निःशुल्क बिजली कनेक्शन से जोड़ा गया। 10 करोड़ से अधिक परिवारों को आयुष्मान भारत योजना में 5 लाख तक के निःशुल्क इलाज की व्यवस्था कराई गई। लगभग 3 करोड़ किसानों को किसान सम्मान निधि से सम्मान से सम्मानित किया गया। 1 लाख से अधिक गरीब परिवारों को प्रधानमंत्री आवास योजना से शामिल किया गया।
सवाल- इन ढाई सालों में उत्तर प्रदेश में रोजगार के लिए क्या किया गया ?
जवाब- प्रदेश में लगभग 125 हजार करोड़ के नए निवेश किए गए, जिसमें तमाम उद्योग कल कारखानों ने अपना उत्पाद भी शुरू कर दिया है। लोगों को रोजगार मिला है। अभी और भी कारखाने लग रहे हैं उम्मीद है उससे भी जल्द नए रोजगार सृजित होंगे।
सवाल- कानून व्यवस्था पर विपक्षी पार्टियों ने कई बार सरकार को घेरा है, इस पर क्या कहेंगे ?
जवाब - पूर्ववर्ती सरकार में कानून व्यवस्था बिलकुल चरमरा गई थी ,उसे सुधारने में हमने काफी मेहनत की है। वो चाहते हैं कि वे लोगों को गुमराह कर फिर से गुंडे-माफियाओं की सरकार बनाने में सफल हो जाएं ,लेकिन अब जनता जान गई है। अब प्रदेश में उनकी दाल गलने वाली नहीं है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अपराधियों पर की गई सख्ती से अपराधियों की कमर टूट गई है। ढाई साल में एक भी हिन्दू- मुस्लिम दंगा नहीं हुआ, यह भाईचारे और साम्प्रादयिक सौहार्द का प्रमाण है। हमने गुंडे माफियाओं को चिन्हित कर जेल की सलाखों के पीछे भेजा। कानून व्यवस्था का राज उत्तर प्रदेश में कायम है।