
लखनऊ (Uttar Pradesh) । केंद्र सरकार की तर्ज पर यूपी की योगी सरकार भी पेपरलेस बजट 22 फरवरी को पेश करेगी। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इस बार के बजट में योगी सरकार का युवाओं के साथ किसानों पर खास फोकस रहेगा। वहीं, इस बजट को राजनीतिक जानकार चुनावी बजट भी मान रहे हैं, क्योंकि यह बजट योगी सरकार के इस कार्यकाल का आखिरी बजट होगा। बता दें कि सदन में सदस्यों के लिए लॉबी में बड़ी स्क्रीन लगाई जाएगी। बजट सेशन के दौरान सदन में कोरोना प्रोटोकाल को देखते हुए सदस्यों को एक-एक सीट छोड़कर बैठना होगा।
स्क्रीन देखकर पढ़ा जाएगा बजट
-पहली बार विधानसभा में बजट भाषण पढ़ने के लिए स्क्रीन लगाई जाएगी, यानी की बजट को स्क्रीन पर देखकर पढ़ा जाएगा।
-वित्त एवं संसदीय कार्य मंत्री सुरेश खन्ना इस बार पुस्तिका पढ़ने की जगह स्क्रीन को देखकर बजट पढ़ेंगे।
- संसदीय कार्यमंत्री लैपटॉप की स्क्रीन को देखकर बजट पढ़ेंगे।
बजट में यह हो सकता है खास
-इस बार का बजट 5500 करोड़ से ज्यादा रह सकता है, जबकि चालू वित्तीय वर्ष में कुल बजट 5.13 लाख करोड़ है।
-कोरोना महामारी के चलते स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए भी महत्वपूर्ण घोषणाएं हो सकती हैं।
-कृषि और उद्योग क्षेत्र के लिए भी महत्वपूर्ण घोषणाएं होने की उम्मीद है।
-गंगा परियोजना, पांच एक्सप्रेस-वे की परियोजनाओं को आगे बढ़ाने की घोषणा हो सकती है।
-250 से अधिक आबादी वाले गांवों को मुख्य संपर्क मार्गों से जोड़ने की घोषणा हो सकती है।
-नोएडा में फिल्म सिटी, पर्यटन स्थलों के विकास के साथ-साथ आवास से जुड़ी परियोजनाओं के लिए भी घोषणाएं होने की उम्मीद है।
महंगाई भत्ते को बहाल कर सकती है सरकार
प्रदेश में कुल 16 लाख सरकारी कर्मचारी और तकरीबन 12 लाख पेंशनधारक हैं। पिछले साल कोरोना के चलते इनके डीए में वृद्धि को रोक लिया गया था। अब सरकार इनके महंगाई भत्ते को बहाल कर सकती है।
पीएम मोदी की अगुवाई में पेश किया गया था पेपरलेस बजट
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई वाली केंद्र सरकार ने इस बार का बजट पेपरलेस पेश किया था, जिसके बाद यूपी की योगी सरकार भी पेपरलेस बजट पेश करने की तैयारियों में जुट गई। मंत्रियों और विधायकों को आइपैड पर बजट देखने की ट्रेनिंग भी दी जा चुकी है। अब राज्य के वित्तमंत्री सुरेश खन्ना कल सोमवार को पेपरलेस बजट पेश करेंगे। बता दें कि 18 और 19 को भी बजट को लेकर सदन में चर्चा हुई थी।
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