इस रेगिस्तान के गर्भ में छिपे हैं कई रहस्य, जानकर रह जाएंगे हैरान

सहारा रेगिस्तान का आकार अपने आप बढ़ता-घटता रहता है। कहा जाता है कि पिछले 100 साल में इस रेगिस्तान का आकार 9 लाख वर्ग किलोमीटर तक बढ़ा है।

Asianet News Hindi | Published : Nov 12, 2019 8:07 AM IST

नई दिल्ली. अफ्रीका का सहारा रेगिस्तान अपने आकार के कारण मशहूर है। इसे दुनिया का सबसे बड़ा रेगिस्तान कहा जाता है। यहां हर साल कई टूरिस्ट्स घूमने आते हैं लेकिन इसके गर्भ में ऐसी कई बातें भी दफ़न हैं, जिनके बारे में अगर पता चल जाए, तो आपके लिए यकीन कर पाना मुश्किल होगा। आज हम आपको इन्हीं रहस्यों के बारे में बताने जा रहे हैं।  

इस रेगिस्तान में मौजूद नीली आंखें इसे और भी ज्यादा पॉप्युलर बनाती है। ये नीली आंखें अंतरिक्ष से नजर आती हैं। इस बात का पता आजतक कोई नहीं लगा पाया कि इस विशाल रेगिस्तान में ये कलाकृति बनी कैसी? आपको जानकर हैरानी होगी कि सहारा रेगिस्तान की ये नीली आंखें अंतरिक्ष से भी नजर आती हैं।  

अपने आप बढ़ता-घटता रहता

सहारा रेगिस्तान का आकार अपने आप बढ़ता-घटता रहता है। कहा जाता है कि पिछले 100 साल में इस रेगिस्तान का आकार 9 लाख वर्ग किलोमीटर तक बढ़ा है। इसके पीछे का कारण कोई नहीं जानता है लेकिन वैज्ञानिकों का दावा है कि इसका मुख्य कारण ग्लोबल वॉर्मिंग है।  

बर्फ़बारी होती है यहां

आजतक आपने सुना होगा कि रेगिस्तान में रेत ही रेत होती है लेकिन शायद ये दुनिया का इकलौता रेगिस्तान है, जहां बर्फ़बारी होती है। यहां बर्फ़बारी तब तक होती है जब तक रेत सफेद चादर से ढंक नहीं जाती। लाल रेत पर सफेद चादर इसे काफी खूबसूरत बना देता है।  

8 देश में है सहारा रेगिस्तान

अगर किसी से पूछा जाए कि सहारा रेगिस्तान कहां है तो इसका जवाब ज्यादातर लोग सऊदी अरब देंगे लेकिन क्या आप जानते हैं कि ये रेगिस्तान कुल आठ देशों में है। ये पूरा रेगिस्तान अफ्रीका महाद्वीप में मौजूद है। लेकिन अगर देश की बात करें तो ये कुल 8 देशों में मौजूद है।  

यहां भटक जाते हैं लोग

ये रेगिस्तान पल-पल बदलता रहता है। शायद यही वजह है कि इस रेगिस्तान में आने वाले ज्यादातर लोग भटक जाते हैं। होता ये है कि यहां के रेत के टीले हवा के साथ बदलते रहते हैं। अगर आप यहां बिना मैप या दिशा सूचक यंत्र के साथ आते हैं, तो आपके भटकने के चान्सेस हजार गुना ज्यादा बढ़ जाएंगे।  

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