अंतरिक्ष में 16 बार सूर्योदय-16 बार सूर्यास्त, सुनीता विलियम्स का वीडियो वायरल

Published : Nov 09, 2024, 06:46 PM ISTUpdated : Nov 09, 2024, 06:47 PM IST
अंतरिक्ष में 16 बार सूर्योदय-16 बार सूर्यास्त, सुनीता विलियम्स का वीडियो वायरल

सार

सुनीता विलियम्स ने अंतरिक्ष में एक दिन में 16 बार सूर्योदय और सूर्यास्त देखने का अपना रोमांचक अनुभव साझा किया। अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन की तेज़ गति के कारण ऐसा होता है। यह वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।

अगर कोई पूछे कि एक दिन में कितनी बार सूर्योदय और सूर्यास्त होता है, तो शायद सब हँसेंगे। क्योंकि सूर्योदय और सूर्यास्त से ही एक दिन बनता है। लेकिन प्रकृति का करिश्मा यही नहीं है। अगर कहा जाए कि एक दिन में 16 बार सूर्योदय और सूर्यास्त होता है, तो क्या आप यकीन करेंगे? यकीन करना ही पड़ेगा। क्योंकि हमारी समझ से परे भी बहुत कुछ है। इतनी बार सूर्य का उदय और अस्त होना धरती पर नहीं, बल्कि अंतरिक्ष में होता है। अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स द्वारा बताई गई यह रोचक बात फिर से चर्चा में है।

सुनीता विलियम्स ने 2013 में गुजरात विश्वविद्यालय में अपने भाषण के दौरान यह बात कही थी। उस समय गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुजरात विश्वविद्यालय में सुनीता विलियम्स को सम्मानित किया था, तब उन्होंने अंतरिक्ष के अपने इस अनुभव को साझा किया था। अब यह वीडियो फिर से वायरल हो रहा है। अभी भी वे अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन पर एक दिन में 16 बार सूर्योदय और सूर्यास्त देखती हैं। सिर्फ़ वे ही नहीं, सभी अंतरिक्ष यात्री ऐसा ही नज़ारा देखते हैं।

विश्वविद्यालय में सुनीता विलियम्स के भाषण के कुछ अंश सोशल मीडिया पर फिर से वायरल हो रहे हैं। उन्होंने अपने अंतरिक्ष के अनुभव साझा करते हुए बताया था कि तेज़ गति से चलने वाले अंतरिक्ष यान में एक दिन में 16 सूर्योदय और 16 सूर्यास्त देखने का मौका मिला। सुनीता विलियम्स फिलहाल अंतरिक्ष में ही हैं। जिस बोइंग स्टारलाइनर अंतरिक्ष यान से वे गई थीं, वह धरती पर वापस आने में असफल रहा है, इसलिए उनके फरवरी तक वापस आने की उम्मीद है। वहां उनकी तबियत भी खराब हो रही है, ऐसी खबरें आ रही हैं।
 
एक दिन में इतनी बार सूर्योदय और सूर्यास्त के बारे में वैज्ञानिक व्याख्या यह है कि लगभग 28 हज़ार किलोमीटर प्रति घंटे की रफ़्तार से धरती का चक्कर लगाने वाला अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन हर 90 मिनट में एक पूरा चक्कर लगा लेता है। इसलिए अंतरिक्ष यात्री लगभग हर 45 मिनट में सूर्योदय और सूर्यास्त देख पाते हैं। वहां एक दिन में लगभग 12 घंटे उजाला और 12 घंटे अंधेरा रहता है। वे हर 45 मिनट के दिन और 45 मिनट की रात का अनुभव करते हैं। धरती के हिसाब से यह एक दिन में 16 बार होता है। अंतरिक्ष यात्री धरती पर अपनी टीम से संपर्क करने के लिए परमाणु घड़ियों का इस्तेमाल करते हैं, जो धरती की कक्षा से बाहर के अभियानों के लिए सटीक समय बताती हैं।

PREV

अंतरराष्ट्रीय राजनीति, ग्लोबल इकोनॉमी, सुरक्षा मुद्दों, टेक प्रगति और विश्व घटनाओं की गहराई से कवरेज पढ़ें। वैश्विक संबंधों, अंतरराष्ट्रीय बाजार और बड़ी अंतरराष्ट्रीय बैठकों की ताज़ा रिपोर्ट्स के लिए World News in Hindi सेक्शन देखें — दुनिया की हर बड़ी खबर, सबसे पहले और सही तरीके से, सिर्फ Asianet News Hindi पर।

Recommended Stories

जेल में बंद Imran Khan क्यों बने Pakistan की टेंशन का कारण?
न्यूयॉर्क फायर ट्रेजेडी: भारतीय छात्रा की नींद में मौत, पड़ोसी बिल्डिंग से कैसे कमरे तक पहुंची आग?