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अब LIC, पवन हंस, BPCL की लगेगी बोली, इस साल सरकार बेच सकती है ये 6 से अधिक बड़ी सरकारी कंपनियां
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6 माह में जुटाने होंगे 1.48 लाख करोड़ रुपए
केंद्र सरकार ने इस वित्तीय वर्ष में Privatization से 1.75 लाख करोड़ रुपए हासिल करने का target रखा है। इस साल के आंकड़ों पर निगाह डाले तो केंद्र सरकार को NMDC, हुडको और Axis Bank में अपनी हिस्सेदारी बेचने से मात्र 8,369 करोड़ रुपए मिले हैं। एअर इंडिया की नीलामी से भी तकरीबन 18 हजार करोड़ रुपए मिले हैं। केंद्र सरकार को मौजूदा समय तक 26,369 हजार करोड़ रुपए ही मिले हैं। इस तरह सरकार को 1.48 लाख करोड़ रुपए जुटाने हैं। इसके लिए सरकार के पास बस 6 माह का समय बचा है।
BPCL को भी निजी हाथों में देगी सरकार
सरकार की योजना के मुताबिक मार्च 2022 तक भारत पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन BPCL का Privatization का काम पूरा हो जाएगा। इसके अलावा सरकार Shipping Corporation of India, पवन हंस, BEML, और नीलांचल इस्पात निगम के Privatization की प्रोसेस भी इस साल पूरा करना चाहती है।
BPCL में अपनी हिस्सेदारी बेचेगी सरकार
भारत पेट्रोलियम कॉरपोरेशन लिमिटेड (BPCL) का में सरकार अपनी पूरी हिस्सेदारी बेचना चाहती है। सरकार ने इसके लिए दिसंबर तक फाइनेंशियल बिड बुलाने की योजना बनाई है। भारत पेट्रोलियम में भारत सरकार की 53% हिस्सेदारी है, जिसकी कीमत करीब 50 हजार करोड़ रुपए आंकी गई है।
LIC बेचकर सरकार जुटाएगी 1 लाख करोड़ रुपए
केंद्र सरकार Life Insurance Corporation of India, (LIC) यानी भारतीय जीवन बीमा निगम में अपनी हिस्सेदारी बेचकर खजाना भरना चाहती है। केंद्र सरकार LIC का IPO लाकर 1 लाख करोड़ रुपए जुटाने का प्लान बना रही है। सरकारी बीमा कंपनी की बिक्री से सरकार बड़ा धन जुटाएगी।
नीलांचल इस्पात निगम
नीलांचल इस्पात निगम को बेचने का मन सरकार बना चुकी है। इसके लिए भारत सरकार को कई कंपनियों से एक्सप्रेशन ऑफ रिक्वेस्ट (EOI) मिला है। एक्सपर्ट की मानें तो नीलांचल इस्पात निगम का मार्च 2022 से पहले निजीकरण किया जा सकता है।
हेलीकॉप्टर निर्माता कंपनी पवन हंस की भी लगेगी बोली
देसी हेलीकॉप्टर बनाने वाली कंपनी पवन हंस का प्रायवेटाजाइशन किए जाने की तैयारी है। इस कंपनी में इस समय सरकार की 51% हिस्सेदारी है, वहीं कंपनी में 49 फीसदी हिस्सेदारी सरकारी तेल एवं गैस कंपनी ONGC की है। ONGC ने भी अपना हिस्सा बेचने का फैसला किया है। यानि हेलीकॉप्टर बनाने वाली कंपनी पवन हंस का सौ फीसदी प्रायवेटाइजशन होगा। इशसे सरकरा बड़ी दनराशि जुटाएगी।
सेंट्रल इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड का भी होगा निजीकरण
केंद्र सरकार ने सेंट्रल इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (CEL) की बिक्री की तैयारी तेज कर दी। एयर इंडिया की तर्ज पर इस कंपनी को इसी साल नीलाम किया जा सकता है। केंद्र सरकार को इस कंपनी की बिक्री के लिए फाइनेंशियल बोलियां मिल गई हैं। वित्त मंत्रालय ने इसकी आधिकारिक जानकारी दी है।
IDBI बैंक की हिस्सेदारी बेचेगी सरकार
केंद्रीय कैबिनेट ने IDBI बैंक में strategic disinvestment और management control ट्रांसफर के लिए स्वीकृति दे दी है। इस बैंक में केंद्र सरकार और LIC की कुल 94% फीसदी हिस्सेदारी है। जिसमें LIC की 49.24% और सरकार की 45.48% हिस्सेदारी है। इसके अलावा 5.29% हिस्सेदारी अन्य इंवेस्टर की है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट भाषण के दौरान कहा था कि IDBI बैंक के निजीकरण की प्रक्रिया मौजूदा वित्त वर्ष में ही पूरी की जाएगी।
Shipping Corporation of India भी बेचेगी सरकार
शिपिंग कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया (Shipping Corporation of India) का भी मार्च 2022 से पहले निजीकरण किया जाएगा। इस कंपनी में भी सरकार अपनी पूरी 63.75% शेयर बेचेगी। Shipping Corporation of India को खरीदने के लिए कई कंपनियां अपना प्रस्ताव दे चुकी हैं। जानकारी के मुताबिक सरकान इशके लिए तीन कंपनियों का नाम शॉर्ट लिस्ट कर चुकी है। (फाइल फोटो)