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युवाओं के नाम मोदी के जबरदस्त और जुनून भर देने वाले 10 डायलॉग, इन्हें सुनकर देश का हर युवा जोश से भर उठेगा
करियर डेस्क. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) का आज जन्मदिन है। 17 सितंबर को पीएम मोदी अपना 70वां जन्मदिवस मना रहे हैं। युवाओं के बीच पीएम सबसे ज्यादा लोकप्रिय हैं। उनके विचार और प्रेरणाभरी बातें युवाओं को प्रभावित भी करती हैं। अपने हर भाषण और कार्यक्रम में पीएम युवाओं में जुनून भरना नहीं भूलते। उन्होंने विश्व युवा कौशल दिवस (World Youth Skill Day) पर भी युवाओं को संबोधित किया था। पीएम मोदी ने युवाओं को हर दिन नया स्किल सीखने का संदेश दिया। पीएम मोदी ने कहा कि आज के दौर में प्रासंगिक (रिलेवेंस) होने का सीधा अर्थ है- स्किल, री-स्किल और अपस्किल, इसे आपको एक साथ बढ़ाना होगा। जन्मदिन के मौके पर हम आपको पीएम मोदी के युवाओं को समर्पित 10 बड़े डायलॉग बता रहे हैं-
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पीएम ने एक कार्क्रम में कहा- 'हर सफल व्यक्ति को अपने स्किल को सुधारने का मौका मिलना चाहिए, अगर कुछ नया सीखने की ललक नहीं है तो जीवन ठहर जाता है। इसलिए हर किसी को लगातार अपने स्किल में बदलाव करना होगा, यही समय की मांग है।'
अगर स्किल को सीखते रहेंगे तो जीवन में उत्साह बनेगा। कोई किसी भी उम्र में स्किल सीख सकता है। हर किसी में अपनी एक क्षमता होती है, जो दूसरों से आपको अलग बनाती है।
मुझे यकीन है कि सीखने के लिए बहुत कुछ है और लोगों को पढ़ाने के लिए भी बहुत कुछ है, युवाओं को नए कौशल को सीखना और सिखाना चाहिए।
युवा बाहर निकल कर कुछ अलग करें। भारत विविधता से भरा है। भाषा सीखने का प्रयास करें। तैराकी और कलाकारी सीखें।
युवाओं के लिए स्किल सिर्फ रोजी-रोटी और पैसे कमाने का जरिया नहीं है। जिंदगी में उमंग चाहिए, उत्साह चाहिए, जीने की जिद चाहिए, तो स्किल हमारी ड्राइविंग फोर्स बनती है, हमारे लिए नई प्रेरणा लेकर आती है।
नई शिक्षा नीति को लेकर पीएम ने युवाओं से कहा- 'बच्चों में सीखने की ललक बढ़े, इसलिए स्थानीय भाषा पर फोकस किया, पांचवीं तक अपनी भाषा में पढ़ाई करेंगे बच्चे।'
पीएम ने नई शिक्षा नीति का औचित्य बताते हुए कहा कि कभी डॉक्टर, कभी वकील, कभी इंजीनियर बनाने की होड़ लगी थी। दिलचस्पी, क्षमता और मांग की मैपिंग के बिना इस होड़ से छात्रों को बाहर निकालना जरूरी था।
हर युवा को यह अवसर मिलना ही चाहिए कि वो अपने पैशन को फॉलो करे। वो अपनी सुविधा और जरूरत के हिसाब से किसी डिग्री या कोर्स को फॉलो कर सके और अगर उसका मन करे तो वो छोड़ भी सके।
हमें युवाओं को ग्लोबल सिटीजन बनाना है, लेकिन अपनी जड़ों से भी जुड़े रहना चाहिए।
मन की बात के एक कार्यक्रम में मोदी ने युवाओं से कहा- 'आइए हम बदलाव की ओर बढ़ते हुए भारत की ओर खुद को समर्पित करें।'