सार
देश में आज से 18 साल से ऊपर की उम्र के सभी लोगों को फ्री में वैक्सीन लगेगी। बता दें कि वैक्सीनेशन अभियान को और अधिक प्रभावी और तेजी देने के मकसद से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 7 जून को पॉलिस में बदलाव का ऐलान किया था। यह 21 जून से प्रभावी हो गया।
नई दिल्ली. देशभर में आज से वैक्सीनेशन की नई पॉलिसी प्रभावी हो गई। यानी अब केंद्र सरकार ही 18 साल से ऊपर की उम्र के सभी लोगों को फ्री में वैक्सीन लगवाएगी। इसके लिए अब सेंटर पर जाकर भी सीधे रजिस्ट्रेशन कराया जा सकेगा। बता दें कि वैक्सीनेशन को लेकर आ रहीं अड़चनों को दूर करने प्रधानमंत्री मोदी ने 7 जून को नई वैक्सीनेशन पॉलिसी का ऐलान किया था। इस बीच गुजरात में वैक्सीनेशन सेंटर का जायजा लेने पहुंचे केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि जुलाई और अगस्त में वैक्सीनेशन की रफ्तार बढ़ाई जाएगी। इतनी बड़ी आबादी वाले देश में मुफ्त टीकाकरण एक बड़ा निर्णय है।
क्या है सरकार की नई गाइडलाइन
सरकार सीधे 75% वैक्सीन कंपनियों से खरीदेगी। इसे राज्यों को फ्री में उपलब्ध कराएगी। राज्य बिना पैसा लिए लोगों को फ्री में वैक्सीन लगाएंगे।
हालांकि, केंद्र से जो वैक्सीन राज्यों को मिलेगी, उसमें प्राथमिकता तय करना होगा। जैसे हेल्थ वर्कर्स, फ्रंटलाइन वर्कर्स, 45 साल से ऊपर के लोग। इसके बाद सेकंड डोज वाले लोग और इसके बाद 18 साल के ऊपर के सभी लोगों को वैक्सीन में प्राथमिकता दी जाएगी।
18 साल से ऊपर के लोगों के लिए वैक्सीन शेड्यूल में प्रायरिटी राज्य सरकार खुद तय करेंगी।
कोरोना केसों की संख्या, वैक्सीन का इस्तेमाल और वेस्टेज को मद्देनजर रखते हुए ही केंद्र राज्यों को वैक्सीन सप्लाई करेगी।
केंद्र सरकार राज्यों को पहले से बता देगी कि किस महीने में उन्हें वैक्सीन के कितने डोज मिलने वाले हैं, ताकि प्रायरिटी ग्रुप्स के वैक्सीनेशन से जुड़े इंतजाम किए जा सकें। इसी तरह से राज्यों को जिला स्तर पर यह जानकारी देनी होगी।
वैक्सीन प्रोडक्शन को प्रोत्साहित करने के लिए और नई वैक्सीन और घरेलू वैक्सीन निर्माता कंपनियों को प्रोत्साहित करने के लिए वे सीधे तौर पर प्राइवेट अस्पतालों को वैक्सीन उपलब्ध करा सकती हैं। लेकिन वे अपने उत्पादन का 25% ही अस्पतालों को दे सकती हैं। राज्यों पर इसकी देखरेख की जिम्मेदारी होगी कि वे छोटे, बड़े और क्षेत्रीय स्तर पर अस्पतालों को वैक्सीन उपलब्ध कराएं।
वैक्सीन निर्माता ही अस्पतालों के लिए कीमत तय करेंगे। अस्पताल प्रति डोज पर 150 रुपए सर्विस चार्ज वसूल सकते हैं।
सभी नागरिकों को फ्री वैक्सीन का अधिकार है। लेकिन जो लोग इसका खर्चा उठा सकते हैं, वे प्राइवेट अस्पतालों में वैक्सीनेशन करा सकते हैं।
गरीबों को प्राइवेट अस्पतालों में वैक्सीन लगवाने के लिए RBI की तरफ से अप्रूव्ड ई-वाउचर लाए जाएंगे। ये नॉन ट्रांसफेरेबल होंगे। यानी इस वाउचर का इस्तेमाल सिर्फ वही व्यक्ति कर सकेगा जिसके नाम पर यह इश्यू किया जाएगा।
इसके अलावा कोविन पर हर कोई वैक्सीन के लिए रजिस्ट्रेशन करा सकता है। इसके साथ ही प्राइवेट और सरकारी अस्पतालों में वैक्सीन के लिए रजिस्ट्रेशन हो सकेगा।
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने वैक्सीनेशन सेंटर का जायज़ा लिया
गुजरात: केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने अहमदाबाद के पंडित दीन दयाल उपाध्याय सेंटर में वैक्सीनेशन का जायज़ा लिया। इस मौके पर शाह ने कहा-जुलाई और अगस्त में टीके लगाने की रफ्तार को बढ़ाने का भी आयोजन भारत सरकार ने किया है। कोरोना से नागरिकों को बचाने के लिए भारत सरकार के इस निर्णय से सभी को राहत मिलेगी। सभी नागरिकों से अपील है कि आप टीका जरूर लगवाएं और समय पर दूसरा टीका भी लगवा लीजिए। इतनी बड़ी आबादी वाले देश में 18 वर्ष से अधिक आयु वाले सभी नागरिकों को निशुल्क वैक्सीन लगाना एक बहुत बड़ा निर्णय है। आज योग दिवस के दिन इसकी देशभर में शुरुआत हो रही है। अब हम बहुत तेजी से लगभग सभी को टीका देने के लक्ष्य के आसपास पहुंच जाएंगे।
यह भी पढ़ें
हम 22 लोग एक साथ पॉजिटिव निकले थे, ऐसे में घबराहट होना लाजिमी थी, फिर भी हार नहीं मानी
केंद्र ने SC से कहा, कोरोना में जान गंवाने वालों के परिवार को नहीं दे सकते हैं 4 लाख रु. बताई वजह