सार
पीएम मोदी शुक्रवार को अहमदाबाद के बोपल में भारतीय राष्ट्रीय अंतरिक्ष संवर्धन और प्राधिकरण केंद्र (IN-SPACe) के मुख्यालय के उद्घाटन समारोह को संबोधित कर रहे थे।
अहमदाबाद। पीएम मोदी ने कहा कि IN-SPACe भारत के युवाओं को, भारत के बेस्ट माइंड को अपना टेलेंट दिखाने का मौका देगा। चाहे वो सरकार में काम कर रहे हों या प्राइवेट सेक्टर में, IN-SPACe सभी के लिए बेहतरीन अवसर बनाएगा। बिग आइडियाज ही तो विजेता बनाते हैं। उन्होंने कहा कि स्पेस सेक्टर में रिफार्म करके, उसे सारी बंदिशों से आजाद करके, IN-SPACe के माध्यम से प्राइवेट इंडस्ट्री को भी सपोर्ट करके देश आज winners बनाने का अभियान शुरू कर रहा है। हमारी कोशिश है कि हम भारत के प्राइवेट सेक्टर के लिए ज्यादा से ज्यादा Ease of Doing Business का माहौल बनाएं, ताकि देश का प्राइवेट सेक्टर, देशवासियों की Ease of Living में उतनी ही मदद करें।
21वीं सदी के आधुनिक भारत के विकास यात्रा का यह शानदार अध्याय
पीएम मोदी शुक्रवार को अहमदाबाद के बोपल में भारतीय राष्ट्रीय अंतरिक्ष संवर्धन और प्राधिकरण केंद्र (IN-SPACe) के मुख्यालय के उद्घाटन समारोह को संबोधित कर रहे थे। उद्घाटन समारोह को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि आज 21वीं सदी के आधुनिक भारत की विकास यात्रा में एक शानदार अध्याय जुड़ा है।Indian National Space Promotion and Authorization Center यानि IN-SPACe के हेडक्वार्टर के लिए सभी बधाई के पात्र हैं। IN-SPACe में भारत की स्पेस इंडस्ट्री में क्रांति लाने की क्षमता है। इसलिए मैं यही कहूंगा- ‘Watch this space’ क्योंकि IN-SPACe is for space, IN-SPACe is for pace, IN-SPACe is for ace.
स्पेस और समुद्र में मानवता का विकास और भविष्य
पीएम मोदी ने कहा कि मानवता का भविष्य, उसका विकास...आने वाले दिनों में दो ऐसे क्षेत्र हैं जो सबसे ज्यादा प्रभावशाली होने वाले हैं, वो हैं - Space और Sea. उन्होंने कहा कि इन दोनों क्षेत्रों में अधिक से अधिक एक्सप्लोर करने और रिसर्च की जरूरत है। यह देश के विकास में महत्वपूर्ण पड़ाव साबित होंगे।
हमारे देश में अनंत संभावनाएं है: पीएम मोदी
पीएम मोदी ने कहा कि हमारे देश में अनंत संभावनाएं हैं, लेकिन अनंत संभावनाएं कभी भी सीमित प्रयासों से साकार नहीं हो सकतीं। मैं आपको आश्वस्त करता हूँ कि स्पेस सेक्टर में reforms का ये सिलसिला आगे भी अनवरत जारी रहेगा। मिशन चंद्रयान के दौरान हमने भारत की इस भावनात्मक एकजुटता को देखा था। 21वीं सदी में स्पेस-टेक एक बड़े revolution का आधार बनने वाला है। स्पेस-टेक अब केवल दूर स्पेस की नहीं, बल्कि हमारे पर्सनल स्पेस की टेक्नालजी बनने जा रही है। उन्होंने कहा कि कोई साइंटिस्ट है या किसान-मजदूर है, विज्ञान की तकनीकियों को समझता है या नहीं समझता है, इन सबसे ऊपर हमारा स्पेस मिशन देश के जन-गण के मन का मिशन बन जाता है।
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