सार
Diwali 2024: दिवाली 5 दिनों तक चलने वाला त्योहार है, लेकिन साल 2024 में ये त्योहार 6 दिनों तक मनाया जाएगा, क्योंकि इस बार दिवाली और गोवर्धन पूजा के बीच एक दिन का गेप रहेगा।
धर्म ग्रंथों के अनुसार, दिवाली 5 दिनों तक चलने वाला त्योहार है। धनतेरस से शुरू होकर ये पर्व भाई दूज तक मनाया जाता है। आमतौर पर दिवाली के दूसरे दिन गोवर्धन पूजा का पर्व मनाते हैं, लेकिन इस बार ऐसा नहीं होगा क्योंकि दिवाली और गोवर्धन पूजा के बीच एक दिन का गेप रहेगा। ऐसा तिथियों में घट-बड़ के कारण होगा। उज्जैन के ज्योतिषाचार्य पं. प्रवीण द्विवेदी से जानिए कब करें गोवर्धन पूजा 2024…
कब करते हैं गोवर्धन पूजा? (Govardhan Puja 2024 Date)
धर्म ग्रंथों के अनुसार, गोवर्धन पूजा का पर्व दिवाली के दूसरे दिन यानी कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि पर मनाया जाता है। इस बार दिवाली 31 अक्टूबर, गुरुवार को है, इसके अगले दिन यानी 1 नवंबर, शुक्रवार को अमावस्या तिथि शाम को लगभग 6 बजे तक रहेगी, इसलिए इस दिन गोवर्धन पूजा का पर्व मनाना शास्त्र सम्मत नहीं रहेगा।
कब करें गोवर्धन पूजा 2024? (Kab Kare Govardhan Puja 2024)
ज्योतिषाचार्य पं. द्विवेदी के अनुसार, दिवाली के अगले दिन यानी 1 नवंबर, को कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि शाम को लगभग 6 बजे से शुरू होगी, जो अगले दिन यानी 2 नवंबर, शनिवार को पूरे दिन रहेगी। चूंकि कार्तिक शुक्ल द्वितिया तिथि का सूर्योदय 2 नवंबर को होगा, इसलिए उदया तिथि के हिसाब से गोवर्धन पूजा का पर्व इसी दिन मनाया जाएगा।
क्या करें 1 नवंबर को?
दिवाली के अगले दिन यानी 1 नवंबर को सूर्योदय के समय अमावस्या तिथि रहेगी जो शाम को लगभग 6 बजे समाप्त होगी। अमावस्या तिथि में सूर्योदय होने से ये स्नान-दान और श्राद्ध अमावस्या कहलाएगी। यानी कार्तिक अमावस्या से संबंधित स्नान-दान 1 नवंबर, शुक्रवार को किए जाएंगे, साथ ही पितरों की शांति के लिए श्राद्ध, पिंडदान करने के लिए भी ये दिन ही श्रेष्ठ रहेगा।
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इस आर्टिकल में जो भी जानकारी दी गई है, वो ज्योतिषियों, पंचांग, धर्म ग्रंथों और मान्यताओं पर आधारित हैं। इन जानकारियों को आप तक पहुंचाने का हम सिर्फ एक माध्यम हैं। यूजर्स से निवेदन है कि वो इन जानकारियों को सिर्फ सूचना ही मानें।