युवा अक्सर महंगे शौक और लिमिटेड सेविंग्स के साथ प्लान बनाते हैं। यह जरूरी है कि आप अपने गोल को रियलिस्टिक रखें। छोटे लेकिन लगातार निवेश से भविष्य में बड़ा फायदा मिल सकता है।
आज 1 लाख रुपए पर्याप्त लग सकते हैं, लेकिन 20 साल बाद उसकी कीमत बहुत घट सकती है। इक्विटी और लॉन्ग टर्म इन्वेस्टमेंट से महंगाई को मात दे सकते हैं। महंगाई फैक्टर्स को जरूर देखें।
कम से कम 6 महीने का खर्च आपके पास होना चाहिए। अचानक मेडिकल या फैमिली खर्चों के लिए तैयार रहें। छोटे-छोटे इन्वेस्टमेंट लंबे समय तक करें, उसे बिना जरूरत इस्तेमाल न करें।
EPF और PPF दोनों ही आपके रिटायरमेंट के लिए हैं। EPF को जल्दी निकालना नुकसानदेह हो सकता है, जबकि PPF के जरिए टैक्स-फ्री रिटर्न और लॉन्ग टर्म कंपाउंडिंग फायदा मिलता है।
युवा अक्सर हेल्थ इंश्योरेंस इग्नोर कर देते हैं, लेकिन यह रिटायरमेंट बाद बहुत जरूरी हो जाता है। मेडिकल खर्च उम्र के साथ बढ़ते हैं और न हो तो फाइनेंशियल फ्रीडम पर भारी पड़ सकता है।
छोटी फीस और सही टर्म इंश्योरेंस लंबे समय में लाखों की बचत करा सकते हैं। लाइफ इंश्योरेंस के लिए कम से कम अपनी सालाना इनकम का 10-15 गुना कवर लेना चाहिए। हमेशा कवरेज रिव्यू करें।
कंपाउंडिंग का जादू समय के साथ बढ़ता है। देर से शुरुआत करने पर हर महीने ज्यादा बचत करनी पड़ेगी। इसलिए जितना जल्दी निवेश शुरू करेंगे, उतना कम बोझ और ज्यादा फायदा होगा।
सुरक्षित निवेश करना ही पर्याप्त नहीं है। इक्विटी, डेट और गोल्ड का सही बैलेंस रखें। उम्र और रिस्क के अनुसार अलोकेशन बदलते रहें। इससे पोर्टफोलियो लॉन्ग टर्म में अच्छी बचत देगा।