वैज्ञानिकों के मुताबिक, सूर्य का तापमान 5,500 डिग्री सेल्सियस है। इसके कोर का तापमान 1.5 करोड़ सेल्सियस तक पहुंचता है। यह 100 अरब टन डायनामाइट की गर्मी के बराबर है।
वैज्ञानिकों के अनुसार, सूर्य का जन्म करीब 4.6 अरब साल पहले हुआ। सूर्य और सौरमंडल का बाकी हिस्सा गैस और धूल से बना है। जिसे सोलर नेब्युला कहा जाता है।
नेशनल ज्योग्राफिक के मुताबिक, हीलियम-हाइड्रोजन के आणविक बादल से सूर्य बनने की शुरुआत हुई। सुपरनोवा से पैदा शॉकवेव से सूर्य चार्ज हुआ और उसकी उत्पत्ति हुई।
वैज्ञानिकों का मानना है, सूर्य की कुल उम्र करीब 10 अरब साल तक रहेगी। वह अपनी आधी उम्र गुजार चुका है। इसका मतलब 5 अरब साल बाद सूर्य का अंत हो जाएगा।
2018 की मैनचेस्टर यूनिवर्सिटी शोध रिपोर्ट के मुताबिक, अंत से पहले सूर्य बहुत गर्म और चमकदार होगा। उसका कोर सिकुड़कर बाकी तारों की तरह सफेद बौना तारा बन जाएगा।
सूर्य से धरती पर जीवन है। इसकी वजह से मौसम, जलवायु और समुद्र की धारा तय होती है। पौधों में प्रकाश संश्लेषण होता है। सूर्य नहीं रहा तो धरती पर जीवन भी संभाव नहीं हो पाएगा।
शोधकर्ताओं के अनुसार, जब सूर्य का अंत होगा तो उससे कुछ समय पहले ही पृथ्वी पर इंसान, जीवन-जंतु और वनस्पतियां खत्म हो जाएंगी।