बिना भीगे नहीं कर पाएंगे इस शिवलिंग का दर्शन, जानें इस मंदिर की खासियत
Travel Jul 15 2025
Author: Chanchal Thakur Image Credits:Instagram
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लोकेशन
मंदिर कर्नाटक के मूडगल केराड़ी गांव में स्थित है, जो कुंदापुर से 50 किमी दूर है। यह समुद्र तटीय क्षेत्र और वनों के करीब होने के कारण बेहद शांत और प्राकृतिक है।
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गुफा में स्थित शिवलिंग
मंदिर का सबसे बड़ा आकर्षण है एक संकरी गुफा, जिसमें लगभग घुटनों तक पानी में चलकर शिवलिंग तक पहुँचना होता है। यह यात्रा श्रद्धा और रोमांच का अद्भुत संगम है।
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साफ पानी और मछलियां
गुफा के अंदर पानी में मछलियां तैरती हैं। चावल या अन्य अनाज मछलियों को खिलाना एक पवित्र परंपरा मानी जाती है, जो दर्शन को और भी विशेष बनाती है।
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समय और एंट्री रूल
मंदिर पूरे साल खुला रहता है, लेकिन मानसून या सावन महीनों में यहां दर्शन करना खास माना जाता है। प्रवेश निशुल्क है और सुबह से शाम तक मंदिर खुला रहता है।
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बेलकल तीर्थ जलप्रपात
मंदिर से सिर्फ 10 किमी दूर स्थित यह जलप्रपात प्राकृतिक सौंदर्य और शांति का उत्तम स्थान है। दर्शन के बाद पिकनिक या मेडिटेशन के लिए यह जगह आदर्श है।
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आस्था + एडवेंचर
यह मंदिर उन श्रद्धालुओं के लिए एक अद्भुत अनुभव है जो शिवभक्ति के साथ प्रकृति की गहराइयों में उतरना चाहते हैं। यहां की गुफा यात्रा, जल, और अध्यात्मिक ऊर्जा आत्मिक संतोष देती है।
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क्या लेकर जाएं?
वाटरप्रूफ चप्पल या ट्रैकिंग शूज
कपड़े का जोड़ा (भीगने की संभावना)
पूजा सामग्री और मछलियों के लिए चावल
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श्री केशवनाथेश्वर मंदिर
कर्नाटक में स्थित श्री केशवनाथेश्वर मंदिर पानी में चलकर चलते गुफा के अंदर जाना होता है और फिर भगवान शिव का दर्शन होता है।
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कैसे पहुंचें?
नजदीकी रेलवे स्टेशन: कुंदापुर (50 किमी)
नजदीकी हवाई अड्डा: मैंगलोर (120 किमी)
मंदिर तक पहुँचने के लिए कुंदापुर से टैक्सी या बाइक किराए पर ली जा सकती है।