30 मई, मंगलवार को गंगा दशहरा है। इसी तिथि पर देवनदी गंगा धरती पर आई थी। गंगा जल अगर घर में हो तो कुछ बातों का विशेष ध्यान रखना चाहिए। आगे जानें इन बातों के बारे में…
गंगा जल को ईशान कोण में रखना चाहिए। वास्तु में इस दिशा को सबसे पवित्र माना गया है। ऐसा करने संभव न हो तो पूजा स्थान पर भी गंगा जल रख सकते हैं।
गंगा जल को कभी भी प्लास्टिक की बोतल में न रखें। इसे हमेशा तांबे या चांदी के बर्तन में रखना चाहिए। इससे इसका शुभ प्रभाव और पवित्रता बनी रहती है।
घर में जहां कहीं भी गंगाजल रखें, वहां साफ-सफाई का ध्यान विशेष रूप से रखें। गंगा जल स्वयं देवी गंगा का ही स्वरूप है, इसे गंदे स्थान पर रखने से वास्तु दोष हो सकता है।
जहां गंगाजल रखें, वहां मांस, शराब व अन्य गलत चीजों का सेवन नहीं करना चाहिए। इससे गंगा जल की सात्विकता खत्म होती है। इसका दुष्परिणाम भी होता है।
गंगाजल को अंधेरे स्थान पर न रखें, न ही इसे गंदे या जूठे हाथों से छुएं। ऐसा करने से इसकी पॉजिटिविटी खत्म हो जाती है और अशुभ फलों की प्राप्ति होती है।
एकादशी, पूर्णिमा, अमावस्या आदि मौकों पर घर में गंगाजल की कुछ बूंदों का छिड़काव पूरे घर में करें।इससे घर में पॉजिटिव एनर्जी बनी रहती है सुख-समृद्धि का आगमन होता है।