वनडे वर्ल्डकप के इतिहास में सिर्फ 1 खिलाड़ी ही ऐसा है जिसने दो बार हैट्रिक ली है। जी हां इसके अलावा यह करिश्मा कोई दूसरा गेंदबाज नहीं दिखा पाया है।
श्रीलंकाई तेज गेंदबाज लसिथ मलिंगा इकलौते ऐसे गेंदबाज हैं, जिन्होंने 2007 व 2011 वर्ल्डकप में दो बार बैट्रिक लेने का करिश्मा किया है। मलिंगा का बॉलिंग एक्शन अजूबे से कम नहीं था।
साल 2003 के वनडे वर्ल्डकप में पहली बार दो देशों के दो गेंदबाजों ने हैट्रिक ली। क्रिकेट वर्ल्डकप के इतिहास में यह पहला मौका था, जब 1 ही साल में दो-दो हैट्रिक बनी।
2003 वर्ल्डकप में पहली हैट्रिक श्रीलंका के गेंदबाज चमिंडा वास ने ली थी। दूसरी हैट्रिक उसी साल ऑस्ट्रेलियाई पेस ब्रेट ली ने ली थी। इसके बाद 2011 में दो हैट्रिक बनी।
क्रिकेट विश्वकप के इतिहास में दूसरी हैट्रिक के लिए 12 साल का इंतजार करना पड़ा। 1999 में पाकिस्तान बॉलर सकलैन मुश्ताक ने जिम्बाबवे के खिलाफ ओवल मैदान में हैट्रिक ली थी।
वनडे वर्ल्डकप 2011 में भी दो-दो हैट्रिक बनी। पहली हैट्रिक केमर रोच ने ली। जबकि दूसरी हैट्रिक श्रीलंका के दिग्गज बॉलर लसिथ मलिंगा ने केन्या के खिलाफ बनाई थी।