अजमेर दरगाह का खजाना उड़ा देगा होश, सिर्फ 15 दिन में आता है 4 करोड़
करीब 850 साल पुरानी ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती की दरगाह चर्चा में है। हिंदू पक्ष का दावा है कि यहां तहखाने में शिव मंदिर बना है। आइए जानते हैं अजमेर दरगाह की कितनी आय होती है।
Rajasthan Nov 30 2024
Author: Arvind Raghuwanshi Image Credits:Our own
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दरगाह में चादर चढ़ाने होती हर मुराद पूरी
अजमेर दरगाह में हर रोज बड़ी संख्या में जायरीन आते हैं। बताया जाता है कि यहां चादर चढ़ाने और माथा टेकने से हर मुराद पूरी होती है।
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15 दिन उर्स का ठेका ही 4 करोड में...
दरगाह में रोजाना के चढ़ावे का हिसाब नहीं रखा जाता, लेकिन यहां की प्रॉपर्टी करोड़ों में है । 15 दिन के लिए आने वाले उर्स का ठेका ही 4 करोड में उठता है। तो सालभर की इनकम कितनी होगी।
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दरगाह में चढ़ाए जाते सोने चांदी के गहने
देश और दुनिया भर से आने वाले जायरीन कैश के अलावा सोने चांदी के जेवर भी भेंट करते हैं ।इस 15 दिन के लिए बाकायदा बोली लगती है और सबसे ज्यादा बोली लगाने वाले को ठेका दिया जाता है।
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अजमेर दरगाह में 100 से ज्यादा दुकानें
दरगाह के अधीन आने वाली तीन बीघा से ज्यादा जमीन भी है , जिससे किराया आता है।वहीं दरगाह के अधीन करीब 100 से ज्यादा दुकानें भी हैं , जो मासिक किराया देती है।
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दरगाह में दान करते हैं जायरीन
दरगाह में आने वाले जायरीन दान पुण्य के लिए इस देग का ठेका उठाते हैं और अपने स्तर पर खाना बनवाते हैं। जिसका एक बार का खर्च डेढ़ लाख से 2 लाख रुपए तक होता है ।
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अजमेर दरगाह की यहां से होती कमाई
बड़ी बात यह है कि साल भर में करीब 300 से ज्यादा दिन तक यह देग बुक रहती है , इसे ऑनलाइन बुक कराया जा सकता है।