सार
सरोगेसी और आईवीएफ ना सिर्फ महिलाओं की खाली झोली भर रहा है, बल्कि ऐसे मर्द जो बिना शादी किये पिता बनना चाहते हैं, उसकी भी मुराद पूरी कर रहा है।
गोवा: वो ज़माना गया, जब मां या पिता बनने के लिए शादी करना जरुरी होता था। आज के समय में कई कुंवारे लोग बिना शादी किये ही पेरेंट्स बन रहे हैं। सिंगल पैरेंट्स का ये कांसेप्ट काफी जबरदस्त है। वो लोग जो बच्चे अडॉप्ट नहीं करना चाहते और खुद का बच्चा चाहते हैं, उनकी मुराद अब डॉक्टर्स पूरी कर रहे हैं। इसी का उदाहरण गोवा से सामने आया है।
दुबई से लौटे शख्स की भरी झोली
दुबई में रहने वाले 36 साल के युसूफ खान की जिंदगी गोवा के डॉक्टर्स ने बदल दी। मूल रूप से पुणे के रहने वाले युसूफ नौकरी लगने के बाद दुबई चले गए। वो शादी नहीं करना चाहते थे लेकिन उन्हें बच्चे की चाहत थी। वो सिंगल फादर बनना चाहते थे। उनकी इस ख़वाहिश को पूरा किया गोवा के डॉक्टर्स ने। गोवा से सामने आया ये पहला सक्सेसफुल मामला है।
13 बार कर चुके थे कोशिश
युसूफ पिता बनने के बाद काफी खुश हैं। उन्होंने बताया कि काफी समय पहले से उन्हें पता था कि वो शादी नहीं करेंगे। लेकिन वो पिता बनना चाहते थे। अपने बच्चे पर प्यार लुटाना चाहते थे। इसके लिए उन्होंने दुबई में एक-दो नहीं बल्कि 12 बार आईवीएफ ट्राई किया। लेकिन हर बार उन्हें निराशा हाथ लगी। इसके बाद वो गोवा आ गए। उन्होंने पणजी के एक हॉस्पिटल से संपर्क किया। आज युसूफ एक बेटे के पिता हैं।
10 बार रिजेक्ट हुआ था एडॉप्शन रिक्वेस्ट
युसूफ हमेशा से पिता बनना चाहते थे। उन्होंने 10 बार अनाथआश्रम में बच्चा गोद लेने की रिक्वेस्ट डाली थी। लेकिन हर बार उनका एप्लीकशन रिजेक्ट हो जाता था। इसके बाद 12 बार आईवीएफ ट्राई करने के बाद उनकी झोली भरी। बच्चे का पिता बनकर युसूफ की ख़ुशी का ठिकाना नहीं है।