लालू प्रसाद यादव को नहीं मिली राहत, फिर टली सुनवाई, जानिए क्या है पूरा मामला

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक लालू प्रसाद यादव को जिन चार मामलों में सीबीआई की कोर्ट ने सजा दी है, उनमें से तीन में हाईकोर्ट ने उन्हें आधी सजा काट लेने के आधार पर जमानत दे दी है। इसी आधार पर लालू प्रसाद यादव ने चौथी सजा दुमका कोषागार के मामले में भी जमानत मांगी है। साथ ही उन्‍होंने अपने खराब स्‍वास्‍थ्‍य का भी हवाला दिया है।
 

Asianet News Hindi | Published : Nov 27, 2020 4:00 AM IST / Updated: Nov 27 2020, 01:22 PM IST

पटना (Bihar)। आरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव को अभी जेल में ही रहना होगा। आज जमानत याचिका पर रांची हाई कोर्ट में सुनवाई फिर टल गई। खबर है कि लालू के अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने सीबीआई के जवाब में कस्टडी को सत्यापित करने के लिए समय मांगा। जिसके बाद कोर्ट ने इस मामले में सुनवाई के लिए 11 दिसंबर को अगली तारीख दी है। बता दें कि सीबीआई ने 34 माह कस्टडी बताया है जबकि लालू 42 माह 28 दिन बता रहे हैं।

चार मामलों में हो चुकी है सजा, पांचवें पर चल रही सुनवाई
लालू प्रसाद यादव को झारखंड में दर्ज चारा घोटाला के पांच मामलों में से चार में सीबीआइ की विशेष अदालत ने सजा दे दी है। इन मामलों की अपील रांची हाईकोर्ट में लंबित है। जबकि, डोरंडा कोषागार से संबंधित पांचवे मामले में अभी सीबीआइ कोर्ट में सुनवाई चल रही है।

अब तक तीन मामलों में मिल चुकी बेल
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक लालू प्रसाद यादव को जिन चार मामलों में सीबीआई की कोर्ट ने सजा दी है, उनमें से तीन में हाईकोर्ट ने उन्हें आधी सजा काट लेने के आधार पर जमानत दे दी है। इसी आधार पर लालू प्रसाद यादव ने चौथी सजा दुमका कोषागार के मामले में भी जमानत मांगी है। साथ ही उन्‍होंने अपने खराब स्‍वास्‍थ्‍य का भी हवाला दिया है।

सीबीआइ ने किया बेल का विरोध, दिया ये तर्क
बताते हैं कि लालू प्रसाद यादव के जमानत का विरोध सीबीआई ने किया है। उसने अपने जवाब में कहा है कि सीबीआइ कोर्ट ने दुमका कोषागार मामले में लालू प्रसाद यादव को दो अलग-अलग मामलों में सात-सात साल की सजा सुनाई गई है। कोर्ट ने दोनों सजाएं एक साथ चलाने का आदेश नहीं दिया है। इस कारण लालू प्रसाद यादव ने दुमका कोषागार के मामले में एक दिन की सजा भी नहीं काटी है।
 

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