LIC IPO Opens Today: इन 5 कारणों की वजह से देश के सबसे बड़े आईपीओ में निवेश की दी जा रही है सलाह

LIC IPO Opens Today: बाजार जानकारों के अनुसार, एलआईसी आईपीओ जीएमपी (ग्रे मार्केट प्रीमियम) आज 85 रुपए ज्यादा है, जो एलआईसी आईपीओ प्राइस बैंड 902 से 949 रुपए प्रति इक्विटी शेयर से लगभग 8 फीसदी अधिक है।

LIC IPO Opens Today: एलआईसी आईपीओ बुधवार को सब्सक्रिप्शन के लिए ओपन हो गया है और यह 9 मई 2022 तक बोली लगाने के लिए खुला रहेगा। जबकि निवेशक एलआईसी के फाइनेंशियल्स स्कैनिंग में बिजी हैं, ग्रे मार्केट भी पब्लिक इश्यू के संबंध में पॉजिटिव सिग्नल दे रहे हैं। बाजार जानकारों के अनुसार, एलआईसी आईपीओ जीएमपी (ग्रे मार्केट प्रीमियम) आज 85 रुपए ज्यादा है, जो एलआईसी आईपीओ प्राइस बैंड 902 से 949 रुपए प्रति इक्विटी शेयर से लगभग 8 फीसदी अधिक है। ग्रे मार्केट की तरह, विश्लेषक भी एलआईसी आईपीओ को लेकर उत्साहित हैं क्योंकि वे इसे लंबी अवधि के निवेश के लिए उपयुक्त विकल्प मानते हैं। आइए आपको भी बताते हैं वो 5 कारण, जिनकी वजह से जानकार निवेशकों को एलआईसी में निवेश करने की सलाह दे रहे हैं।

1. एलआईसी का वैल्यूएशन
आकर्षक वैल्यूएशन पर एलआईसी आईपीओ को 'बाय' टैग देते हुए, अपसाइड एआई के को-फाउंडर और चीफ इंवेस्टमेंट ऑफिसर कनिका अग्रवाल ने कहा कि एलआईसी आईपीओ की कीमत बहुत आकर्षक है। चूंकि सरकार ने वैल्यूएशन में 50 फीसदी की कमी से 6 लाख करोड़ रुपए है। लगभग 5.4 लाख करोड़ रुपए के एम्बेडेड मूल्य के लिए इसका वैल्यूएशन 1.1x पर उचित है। निजी बीमाकर्ता 2.5-4x पर व्यापार करते हैं।

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2. सिंगल इंवेस्टमेंट में डायवर्सिफिकेशन
जानकारी के अनुसार 30 सितंबर 2021 तक, एलआईसी भारत का सबसे बड़ा असेट मैनेजर था, जिसका एयूएम 39.55 ट्रिलियन डॉलर था, जो भारत में सभी निजी जीवन बीमा कंपनियों के संयुक्त एयूएम से 3.3 गुना से अधिक और पूरे भारतीय म्यूचुअल फंड उद्योग के एयूएम का 1.1 गुना अधिक थी। 21 सितंबर तक सूचीबद्ध शेयरों में एलआईसी का निवेश एनएसई के पूरे बाजार पूंजीकरण का लगभग 4 फीसदी था।

3. डिविडेंड पेइंग स्टॉक
बाजार विशेषज्ञों का मानना है कि एलआईसी डिविडेंड पेमेंट  करने वाले शेयरों में से एक होगा, जो किसी के निवेश से लाभ प्राप्त करने का एक और तरीका है। जानकारों की माने लगातार आय प्रदान करने के अलावा, कई लाभांश-भुगतान वाले स्टॉक डिफेंसिव सेक्टर्स में हैं जो कम अस्थिरता के साथ आर्थिक मंदी का सामना कर सकते हैं। भारतीय जीवन बीमा निगम पूरी तरह से भारत सरकार के स्वामित्व और नियंत्रण में है। भारत सरकार द्वारा हिस्सेदारी को कम करने के बाद कंपनी में बाकी प्रमुख शेयरधारक और निवेशक कंपनी के लिस्टेड होने के बाद उससे अच्छे लाभांश की उम्मीद कर सकते हैं।

4. एलआईसी का मार्केट लीडरशिप
भारतीय जीवन बीमा निगम को निजी बीमा कंपनियों से कड़ी प्रतिस्पर्धा का सामना करना पड़ रहा है लेकिन यह अभी भी बाजार में अग्रणी है। चूंकि इंश्योरेंस सेक्टर की भारतीय आबादी में कम पैठ है, इसलिए यह रिकॉर्ड कम पैठ से पहले से ही बाजार में अग्रणी भारतीय जीवन बीमा निगम के लिए और विकास को बढ़ावा देने की उम्मीद है। जानकारी के अनुसार भारत के एलआईसी का कमीशन-से-प्रीमियम अनुपात 5.5 प्रतिशत है, जबकि शीर्ष पांच निजी खिलाडिय़ों का औसत 4.4 प्रतिशत है।

5. स्ट्रांग लांग टर्म आउटलुक
एलआईसी भारत में बीमा का पर्याय है और ब्रांड वैल्यू के मामले में एक बड़ा प्रतिस्पर्धात्मक लाभ प्राप्त करता है। जानकारों के अनुसार एलआईसी आईपीओ ग्राहकों को पता होना चाहिए कि बीमा का व्यवसाय प्रकृति में दीर्घकालिक है, इसलिए इस इश्यू को लंबी अवधि के लिए सुझाते हैं। केवल और पॉलिसीधारकों को दी गई छूट के कारण इस अवसर का लाभ उठाना चाहिए।

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