
Diwali Bonus 2025: दिवाली आते ही जॉब करने वालों की खुशी का ठिकाना नहीं रहता है। ऑफिस से मिलने वाला बोनस, कैश, गिफ्ट वाउचर, इलेक्ट्रॉनिक्स आइटम्स या मिठाइयां हर किसी के चेहरे पर मुस्कान ला देती हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि इनमें से कुछ चीजें इनकम टैक्स के दायरे में आती हैं और कुछ नहीं? अगर आप जान लें कि कौन सा बोनस या गिफ्ट टैक्सेबल है और कौन सा नहीं, तो आप अपने टैक्स प्लानिंग को बेहतर बना सकते हैं और इनकम टैक्स डिपार्टमेंट की परेशानियों से बच सकते हैं।
दिवाली गिफ्ट्स को लेकर जो नियम है, उन्हें जानकर आप अपने बोनस और गिफ्ट्स का सही अनुमान लगा सकते हैं। इससे ITR फाइलिंग में किसी तरह की कोई गलती नहीं होगी और सबसे जरूरी, बिना किसी टैक्स के दिवाली की खुशियों का पूरा मजा ले सकते हैं।
दिवाली के सभी गिफ्ट्स टैक्स-फ्री नहीं होते हैं। छोटे गिफ्ट्स जैसे मिठाई का डब्बा, कपड़े या 5,000 रुपए तक के इलेक्ट्रॉनिक गेजेट आमतौर पर टैक्स-फ्री होते हैं। लेकिन 5,000 रुपए से महंगे गिफ्ट्स, जैसे महंगे इलेक्ट्रॉनिक्स, ज्वैलरी या हाई वैल्यू वाउचर्स, पूरी तरह टैक्सेबल होते हैं। इन गिफ्ट्स का कुल वैल्यू आपके सालाना इनकम में जोड़ा जाता है और सामान्य सैलेरी इनकम की तरह टैक्स लगाया जाता है।
कैश बोनस किसी भी मामले में टैक्स-फ्री नहीं होता। उदाहरण के लिए, अगर आपको दीवाली बोनस के रूप में 30,000 रुपए मिले, तो इसे आपकी सालाना इनकम में जोड़ा जाएगा और आपकी इनकम टैक्स स्लैब के अनुसार टैक्स लगेगा। कैश बोनस पर कोई अलग छूट नहीं होती, इसलिए इसे सही तरीके से ITR में रिपोर्ट करना जरूरी है। गलत रिपोर्टिंग या छूट लेने की कोशिश करने पर इनकम टैक्स नोटिस का खतरा बन सकता है।
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