1990 के दशक में भारत ने ना केवल आर्थिक उदारीकरण देखा, बल्कि दो मिस यूनिवर्स क्राउन (Miss Universe Crown) (1994 और 2000) और चार मिस वर्ल्ड क्राउन (Miss World Crown) (1994, 1997, 1999 और 2000) के साथ भारतीयों द्वारा ब्यूटी कांटेस्ट में सबसे अधिक जीत देखी गई। उसके बाद से देश में कॉस्मेटिक इंडस्ट्री (Cosmetic Industry in India) में बढ़ोतरी देखने को मिली है।
बिजनेस डेस्क। 20 साल के बाद मिस यूनिवर्स का खिताब एक बार फिर से भारत लौटा है। इस बार भारत की हरनाज संधु (Miss Universe 2021 Harnaaz Sandhu) को इस खिताब से नवाजा गया है। उससे पहले 1990 के दशक में भारत ने ना केवल ग्लोबलाइजेशन देखा, बल्कि दो मिस यूनिवर्स क्राउन (Miss Universe Crown) (1994 और 2000) और चार मिस वर्ल्ड क्राउन (Miss World Crown) (1994, 1997, 1999 और 2000) भी भारत की झोली में आए। उसके बाद से देश में कॉस्मेटिक इंडस्ट्री (Cosmetic Industry in India) में बढ़ोतरी देखने को मिली है। 2001 से लेकर 2021 के बीच भारत में इस कारोबार में 12 गुना का इजाफा देखने को मिला है। एक अनुमान के अनुसार देश में कॉस्मेटिक इंडस्ट्री 1.50 लाख करोड़ रुपए की हो चुकी है। हाल में देश के कॉस्मेटिक ब्रांड नायका (Nykaa) ने बाजार में शानदार डेब्यू किया है। जिसका मार्केट कैप एक लाख करोड़ रुपए से ज्यादा है। आइए आपको बताते हैं कि आखिर बीते 20 सालों में इंडिया में कॉस्मेटिक इंडस्ट्री का ग्रोथ (Cosmetic Industry Growth in India) किस तरह का देखने को मिला है।
यहां से शुरू शुरुआत
योग की बढ़ती लोकप्रियता के साथ, इंटरनेशनल प्लेटफॉर्म पर भारतीय सुंदरियों की जीत ने भारत में कॉस्मेटिक इंडसट्री की लोकप्रियता और बिक्री में योगदान दिया। 1996 में भारत में आयोजित और गोदरेज द्वारा प्रायोजित मिस वर्ल्ड प्रतियोगिता के बाद इंडियन कॉस्मेटिक इंडस्ट्री में एक मजबूत ग्रोथ आया। कई इंटरनेशनल ब्रांड ने ग्लोबलाइजेशन के बाद भारत में देश में प्रवेश किया। उसी के साथ देश में कॉस्मेटिक कारोबार में बढ़ोतरी देखने को मिली। 1999 में इंडियन कॉमेस्टिक इंस्ट्री में 1998 के मुकाबले 8 फीसदी की तेजी देखने को मिली। जबकि 2001 में यह इजाफा 8.7 फीसदी का देखने को मिला। जिसकी वैल्यू 12600 करोड़ रुपए थी। 1995 के बाद से 2017 तक कांस्टेंटली 25 फीसदी का इजाफा देखने को मिला। बढ़ती इनकम और हेल्थ एवं फैशन जागरुकता की वजह से मिडिल क्लास में कॉस्मेटिक प्रोडक्ट की मांग बढ़ी
ऐसे बढ़ रहा है कारोबार
27 सितंबर की एक रिपोर्ट के अनुसार ग्लोबल कॉस्मेटिक इंडस्ट्री 511 बिलियन डॉलर यानी 38.73 लाख करोड़ रुपए की है, जिसके 2025 तक 716.6 बिलियन डॉलर यानी 54.30 लाख करोड़ रुपए तक पहुंचने का अनुमान है। दुनिया के दो सबसे बड़े बाजार यूएस में 62.46 बिलियन डॉलर 4.73 लाख करोड़ रुपए और चीन में 69.4 बिलियन डॉलर यानी 5.58 लाख करोड़ रुपए की इंडस्ट्री है। अगर बात भारत की करें तो 2017 में भारत की कॉस्मेटिक इंडस्ट्री 11 बिलियन डॉलर यानी 83 हजार करोड़ रुपए से ज्यादा की थी जो मौजूदा समय में 20 बिलियन डॉलर यानी 1.50 लाख करोड़ रुपए की हो गई है। जिसके 2025 तक 30 बिलियन डॉलर यानी 2.27 लाख करोड़ रुपए होने का अनुमान लगाया जा रहा है।
नई कंपनियों का आगमन
भारत में कॉस्मेटिक कारोबार से जुड़े लोगों का मानना है कि इस उछाल का मुख्य कारण कॉस्मेटिक सेगमेंट पर केंद्रित ई-कॉमर्स रिटेल सेलर्स की संख्या में इजाफा होना है। नायका और पर्पल जैसी अग्रणी कंपनियों ने छोटे ब्रांडों और स्टार्टअप को आगे बढ़ाने में काफी मदद की। जैसे बेंगलुरु स्थित पर्सनल केयर कंपनी Earthyblend ने 2020 की शुरुआत में अपना ब्रांड True Frog लांच किया था। 2021 में एक स्टार्ट-अप के रूप में स्थापित, भारत की प्रमुख कॉस्मेटिक ई-कॉमर्स कंपनी, Nykaa, देश की टॉप कॉस्मेटिक कंपनी बन गई है। अब इसका न केवल मेकअप और स्किनकेयर उत्पादों का अपना ब्रांड है, बल्कि इसकी अपनी चेन भी है। इसकी सफलता ने प्लम और MyGlamm सहित कई कंपनियों को आगे बढ़ने के लिए प्रेरित किया है।
कोविड के दौरान असर कम
खास बात यह है कि कोरोना महामारी के दौरान इस इंडस्ट्री पर ज्यादा बुरा प्रभाव देखने को नहीं मिला। हालांकि 2020 में लॉकडाउन ने स्किनकेयर की औसत मासिक बिक्री को कम कर दिया, लेकिन बाद में रिकवरी देखने को मिली। जून 2021 में अनलॉक होने के बाद इंडस्ट्री में दिसंबर 2019 के मुकाबले 30 फीसदी का इजाफा देखने को मिला। जानकारों की माने तो हर महीने लगभग 20 फीसदी की वृद्धि देखने को मिल रही है। कोविड-19 की वजह से प्रोडक्शन में थोड़ी रुकावट देखने को मिली, लेकिन बिक्री में ज्यादा प्रभाव इसलिए नहीं पड़ा क्योंकि लोगों ने ऑनलाइन मूव किया, जिससे सेल्स में किसी तरह की गिरावट देखने को नहीं मिली।
यह भी है इंडस्ट्री के बढ़ने का फैक्टर
एसोचैम की रिपोर्ट के अनुसार, बढ़ती जागरूकता और अच्छा दिखने की इच्छा के कारण 2005 और 2015 के बीच यूथ में कॉस्मेटिक प्रोडक्ट्स की खपत का पैटर्न काफी बढ़ गया है। 68 फीसदी से अधिक यूथ को लगता है कि कॉस्मेटिक प्रोडक्ट्स का यूज करने से उनका आत्मविश्वास बढ़ता है। बड़े शहरों में लगभग 62 फीसदी यूथ उपभोक्ता ऑनलाइन कॉस्मेटिक और कॉस्मेटिक प्रोडक्ट्स खरीदना पसंद करते हैं जबकि 45 फीसदी उपभोक्ता दुकानों से कॉस्मेटिक प्रोडक्ट्स और कपड़े खरीदना पसंद करते हैं। वहीं दूसरी ओर भारतीय पुरुषों में बेहतर ग्रूम्ड दिखने की आकांक्षा बढ़ रही है, जिसके कारण पिछले पांच वर्षों में भारतीय पुरुषों के ग्रूमिंग बाजार में 42 फीसदी का इजाफा देखने को मिला है। रिपोर्ट के मुताबिक 18 से 25 वर्ष के आयु वर्ग के पुरुष भारत में महिलाओं की तुलना में सौंदर्य और पर्सनल केयर पर ज्यादा खर्च करते हैं।
इंडियन कॉस्मेटिक और पर्सनल केयर मार्केट के मेन प्लेयर्य
कंपनी का नाम | मार्केट सेल्स शेयर |
यूनिलीवर | 28 फीसदी |
कोलगेट पाल्मोलिव | 6.5 फीसदी |
पीएंडजी | 5.5 फीसदी |
लॉरियल | 4.5 फीसदी |
गोदरेज | 4 फीसदी |
डाबर | 3.5 फीसदी |
कुछ ऐसा है कॉस्मेटिक एड का कारोबार
फरवरी 2021 में आई मीडिया एजेंसी जेनिथ की एक रिपोर्ट के अनुसार, सौंदर्य श्रेणी में विज्ञापन खर्च भारत में सालाना औसतन 7.6 फीसदी बढ़ने की उम्मीद है 2020 में भारत में सौंदर्य विज्ञापन खर्च स्थिर था, रिपोर्ट में कहा गया है कि फ्रांस के साथ भारत दो बाजार हैं जो अगले दो वर्षों में सौंदर्य श्रेणी में सुधार का नेतृत्व करेंगे। जेनिथ की बिजनेस इंटेलिजेंस - ब्यूटी एंड पर्सनल लग्जरी रिपोर्ट में कहा गया है कि 2021 में इन बाजारों में सौंदर्य विज्ञापन खर्च कुल 7.5 बिलियन डॉलर का होगा, और फिर 2022 में बढ़कर 7.7 बिलियन डॉलर हो जाएगा, जो पूरे बाजार के लिए 4.5 फीसदी की तुलना में 2.6 फीसदी% की वृद्धि होगी। भारत, इसके विपरीत, मजबूत उपभोक्ता मांग के परिणामस्वरूप बढ़ने का अनुमान है। भारत में सौंदर्य और व्यक्तिगत लक्जरी विज्ञापन खर्च 2022 में 2019 की तुलना में 15.2 फीसदी अधिक होने का अनुमान है।
इन प्रोडक्ट्स की ब्रांड एंबेसडर हैं भारतीय सुंदरियां
एश्वर्या राय | लक्स, लॉरियल पैरिस |
सुष्मिता सेन | जाफ्रा रुचि कॉस्मेटिक, ओले |
प्रियंका चोपड़ा | पैंटीन, गारनियर, लक्स, पोंड्स, सनसिल्क |
श्रद्धा कपूर | माईग्लैम |
जैकलीन फर्नांडिस | कोलर बार |
भूमि पेडनेकर | मैक कॉस्मेटिक इंडिया |
तापसी पुन्नू | शुगर कॉस्मेटिक |