
UPSC Success Story: यूपीएससी सिविल सर्विसेज परीक्षा (CSE) को पास करना और सिविल सर्वेंट बनना लाखों छात्रों का सपना होता है, लेकिन यह कोई आसान रास्ता नहीं है। इस परीक्षा के पहले चरण को पास करने के लिए घंटों पढ़ाई करनी पड़ती है और विशाल सिलेबस को कवर करना पड़ता है। दूसरा चरण और भी कठिन होता है, जिसके बाद इंटरव्यू राउंड आता है। लेकिन जो छात्र इन सभी स्टेज को पार करते हैं और शानदार ऑल इंडिया रैंक के साथ IAS या IPS अफसर बनते हैं, वे दूसरों के लिए आदर्श बन जाते हैं। ऐसी ही एक कहानी है IAS श्वेता अग्रवाल की, जिन्होंने कई मुश्किलों का सामना किया और तीन बार यूपीएससी पास करके अपनी मंजिल हासिल की।
श्वेता अग्रवाल पश्चिम बंगाल के हुगली जिले से हैं और एक साधारण परिवार से ताल्लुक रखती हैं। उनके पिता एक राशन की दुकान चलाते थे और दिन-रात मेहनत करते थे ताकि परिवार का पेट भर सके। श्वेता के जन्म के समय उनके परिवार को थोड़ा झटका लगा था क्योंकि वे एक बेटे की उम्मीद कर रहे थे। लेकिन श्वेता ने इन अपेक्षाओं को तोड़ा और अपनी कड़ी मेहनत से परिवार को गर्व महसूस कराया। वह अपने परिवार में पहली व्यक्ति बनीं जिन्होंने हायर एजुकेशनल डिग्री हासिल की।
श्वेता ने अपनी प्रारंभिक पढ़ाई जोसफ्स कॉन्वेंट बंडेल स्कूल से की और फिर कोलकाता के सेंट जेवियर्स कॉलेज से इकोनॉमिक्स में ग्रेजुएशन किया। इसके बाद, उन्होंने यूपीएससी की तैयारी शुरू की।
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श्वेता अग्रवाल ने पहली बार 2013 में यूपीएससी की परीक्षा दी और AIR 497 हासिल किया, जिससे उन्हें भारतीय राजस्व सेवा (IRS) में पोस्टिंग मिली। लेकिन श्वेता का सपना IAS बनने का था, इसलिए उन्होंने दोबारा कोशिश की। दूसरे प्रयास में उन्होंने AIR 141 हासिल किया, लेकिन IAS पद नहीं मिला। फिर भी श्वेता ने हार नहीं मानी और तीसरी बार में 2016 में AIR 19 के साथ IAS बनीं।
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श्वेता अग्रवाल की कहानी संघर्ष, दृढ़ संकल्प और मेहनत का जीवित उदाहरण है। उनके अनुभव ने लाखों छात्रों को यह सिखाया है कि किसी भी मुश्किल के बावजूद अपने सपनों को पूरा किया जा सकता है।
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