दाल और चीनी के मिश्रण से बनती है पूरन पोली, महाराष्ट्र ही नहीं इन राज्यों में भी बड़े चाव से खाते हैं लोग

भारत इस साल आजादी का अमृत महोत्सव (Aazadi Ka Amrit Mahotsav) मना रहा है। 15 अगस्त, 2022 को भारत की स्वतंत्रता के 75 साल पूरे हो गए हैं। बता दें कि भारत विविधताओं वाला देश है। यहां अलग-अलग प्रांतों में कई तरह के पकवान बनाए जाते हैं। इन्हीं में से एक है महाराष्ट्र का पूरन पोली। 

Asianet News Hindi | Published : Aug 14, 2022 1:31 PM IST / Updated: Aug 14 2022, 07:04 PM IST

India@75: भारत इस साल आजादी का अमृत महोत्सव (Aazadi Ka Amrit Mahotsav) मना रहा है। 15 अगस्त, 2022 को भारत की स्वतंत्रता के 75 साल पूरे हो गए हैं। आजादी का अमृत महोत्सव अगले साल यानी 15 अगस्त, 2023 तक चलेगा। बता दें कि भारत विविधताओं वाला देश है। यहां अलग-अलग राज्यों में पारंपरिक पकवान बनाए जाते हैं। इन्हीं में से एक है महाराष्ट्र में बनने वाली पूरन पोली। पूरन पोली एक पॉपुलर महाराष्ट्रीयन व्यंजन है, जिसे दाल और चीनी के मिश्रण से बनाया जाता है। देखने में यह रोटी या परांठे की तरह दिखती है, लेकिन खाने में बेहद स्वादिष्ट होती है। 

कब बनाई जाती है पूरन पोली : 
पूरन पोली विशेष रूप से गणेश चतुर्थी के मौके पर बनाई जाती है। इसके अलावा इसे दिवाली पर भी बनाते हैं। पूरन पोली में भरे जाने वाला मीठा भरावन पूरन कहलाता है। पूरन पोली को महाराष्ट्र के अलावा गुजरात में भी बनाया जाता है। इसे चने की दाल से बनाया जाता है। फ्लेवर के लिए  इसमें इलायची या जायफल भी डाला जाता है। 

पूरन पोली का इतिहास : 
गुजराती में इसे वेदमी, तेलुगू में बबट्टू, बक्शम या ओलिगा, कन्नड़ में होलीगे और मराठी में पूरन पोली कहते हैं। इसे बनाने का तरीका हर जगह अलग-अलग है। साउथ में इसे मूंगफली, चीनी, नारियल और तिल के मिश्रण से भी बनाया जाता है। कुछ जगह इसमें थोड़ी हल्दी भी मिलाई जाती है ताकि ट्रेडिशनल पीला रंग आ सके।  

पूरनपोली बनाने की विधि : 
- सबसे पहले चना या अरहर की दाल को अच्छी तरह धोकर 3 घंटे तक पानी में भिगोकर रख दें। इसके बाद भीगी हुई दाल और डेढ़ कप पानी कुकर में डालकर दो-तीन सीटी आने तक पका लें।
- दाल के ठंडा होने के बाद इसे मिक्सर में डाल कर बारीक पीस लें। दाल को पीसने के बाद तवा गरम करें। कढ़ाई में 2 चम्मच घी डालें। इसके बाद गुड़ के टुकड़े घी में डालकर पिघलने तक पकाएं।
- गुड़ पिघलने के बाद इसमें पिसी हुई दाल डाल दें और अच्छी तरह मिलाते हुए इसे पका लें। पूरन जब भुन जाए तो इसमें इलाइची पाउडर डाल कर मिला लें। इस तरह पूरन तैयार हो गया है।
- गेंहू के आटे या मैदा में दो चम्मच घी डालकर अच्छी तरह मिक्स करें। इसके बाद पानी डालकर आटा गूथ लें। आटे को रोटी के आटे से थोड़ा सख्त गूथें। आटा गूंथने के बाद उसे गीले कपड़े में ढंक कर आधे घंटे छोड़ दें। 
- आधे घंटे बाद आटे की लोई तोड़ कर तैयार कर लें। थोड़ा सा सूखा आटा लेकर इन लोइयों को बेल लें। अब इनमें पूरन भरकर दोबारा बेलें। 
- तवे पर घी को अच्छी तरह से डालकर पूरन पोली को दोनों तरफ अच्छी तरह सेंक लें। दोनों तरफ से ब्राउन होने के बाद पूरन पोली को उतार लें। 
- इस तरह स्वदिष्ट पूरनपोली तैयार हैं। इसे आप श्रीखंड, चटनी, अचार या दही के साथ परोस सकते हैं।

ये भी देखें : 

बिहार की पहचान है लिट्टी-चोखा, लेकिन मगध काल से जुड़ा है इसका इतिहास

India@75: साक्षी मलिक से पीटी उषा तक, इन 10 खिलाड़ियों ने भारत पर बरसाया 'सोना'
 

Share this article
click me!