रोहतक, हरियाणा. यह तस्वीर स्वास्थ्य सेवाओं की असलियत दिखाती है। ग्रामीण अंचलों में स्वास्थ्य सेवाओं का बुरा हाल है। दूर-दराज के इलाकों में स्वास्थ्य सेवा मिलना सपने देखने जैसा है। वहीं, सरकारी अस्पतालों की हालत भी बुरी है। न इलाज का इंतजाम है और न ही स्टाफ ठीक। यह तस्वीर यही कहानी कहती है। यह दृश्य कनीना कस्बे में बुधवार को देखने को मिला। यहां के वार्ड-8 में रहने वालीं सुषमा को प्रसव पीड़ा होने पर उनकी सास ने एम्बुलेंस को कॉल किया। कई बार कॉल करने के बावजूद उनका कॉल किसी ने नहीं उठाया। जब सुषमा की तकलीफ बढ़ने लगी, तो उनकी सास पैदल ही उन्हें लेकर अस्पताल की ओर चल पड़ीं। लेकिन अस्पताल से चंद दूर सुषमा ने बेटी को जन्म दिया। आगे पढ़िए इसी घटना के बारें में...