रांची, झारखंड. आदिवासियों को सरकार के खिलाफ हिंसक आंदोलन के लिए उकसाने के आरोप में गुजरात आतंकवाद रोधी दस्ता (STF) द्वारा गिरफ्तार बबिता कच्छप को लेकर सोशल मीडिया पर बहस छिड़ गई है। बबिता पत्थलगढ़ी आंदोलन की लीडर हैं। इन पर झारखंड के आदिवासी बहुल्य गांवों में लोगों को संविधान के खिलाफ खड़ा करने का आरोप है। पत्थलगढ़ी आंदोलन का इतिहास खूनी रहा है। बता दें कि शुक्रवार को बबिता के अलावा दो भाइयों सामू और बिरसा औरेया को पकड़ा गया था। इनकी गिरफ्तारी पर गुजरात के भरुच जिले के झागड़िया से विधायक छोटू वसावा सवाल उठाए हैं। भारतीय ट्राइबल पार्टी (BTP) के प्रमुख वसावा ने कहा कि किसी आदिवासी को नक्सली करार देना..उसे अपने अधिकारों की आवाज न उठाने देना है। हालांकि पुलिस बबिता को सशस्त्र आंदोलन पत्थलगढ़ी की मास्टरमाइंड मानती है। इसे पकड़ने के लिए लंबे समय से पुलिस लगी हुई थी। आगे बढ़ें बबीता और पत्थलगढ़ी आंदोलन की कहानी...