क्वारेंटाइन में तफरी करते मिले युवक, तो डॉक्टर ने स्टेथेस्कोप छोड़कर डंडे से ले डाली खबर
नागौर, राजस्थान. यह तस्वीर नागौर जिले के मकराना कस्बे की है। युवकों के पीछे डंडा लेकर दौड़ता यह कोई पुलिसवाला नहीं है, बल्कि डॉक्टर हैं। इनका गुस्सा बाजिव था। दरअसल, कस्बे के लुहारपुरा इलाके में बाहर से आए 38 युवकों को होम क्वारेंटाइन किया गया है। गुरुवार को मेडिकल टीम उनका चेकअप करने पहुंची। देखा कि कुछ युवक बेफिक्र होकर घर के बाहर टहल रहे हैं। डॉक्टर ने उन्हें कोरोना संक्रमण के खतरे से अवगत कराया। इस पर युवक मजाक करने लगे। इस बात पर डॉक्टर को गुस्सा आ गया। डॉक्टर ने स्टेथेस्कोप को छोड़कर डंडा उठाया और युवकों की अच्छे से खबर ले डाली। डॉ. आबिद हुसैन की यह तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल हुई है। लोगों ने डॉक्टर के गुस्से को जायज ठहराया।
इन युवकों की हरकत पर डॉ. आबिद ने दु:ख जताते हुए कहा कि इस समय देश संकट में हैं। हम लोग लोगों की जिंदगी बचाने खुद जान जोखिम में डाल रहे और ये लोग कोरोना को मजाक समझ रहे। उन्होंने कहा कि महामारी जाति-समाज या मजहब देखकर नहीं आती। यह लापरवाहों को अपनी चपेट में लेती है।
लॉक डाउन का उल्लंघन करना कुछ लोगों के लिए जैसे मजाक हो गया है।
सोशल डिस्टेंसिंग की अपील के बावजूद लोग उसे गंभीरता से नहीं ले रहे हैं।
यह तस्वीर पुष्कर की है। यह धार्मिक स्थल इन दिनों सूना पड़ा हुआ है।
यह तस्वीर पुष्कर की है। लॉक डाउन की ऐसा पालन कोरोना संक्रमण को रोकने में सफल रहेगा।
यह तस्वीर जयपुर की है। लॉक डाउन के कारण सूनी पड़ीं सड़कों पर परिंदों ने डेरा जमा लिया है।
लॉक डाउन के कारण धार्मिक स्थलों पर भी ताला डाल दिया गया है।
लॉक डाउन का पालन करके ही कोरोना को हराया जा सकता है।
कोरोना को हराना है, तो घरों में रहना होगा। प्रार्थना से ज्यादा सतर्कता ही कोरोना से बचाव है।