आगरा(Uttar Pradesh). कहते हैं दुनिया में किसी शिशु के लिए उसके मां के दूध से ज्यादा फायदेमंद कोई दवा नही होती है। ये बात बिलुकल सही साबित हुई है आगरा के एक मासूम कोरोना पीड़ित के साथ। 23 दिन के मासूम बच्चे में कोरोना पाजिटिव पाए जाने के बाद आगरा के एसएन मेडिकल कालेज में भर्ती कराया गया था। उसकी देखभाल के लिए उसकी मां को भी सुरक्षा किट और तमाम अहतियात बरतते हुए उसके साथ रखा गया था । लेकिन महज 15 दिनों में ही सूबे के सबसे कम उम्र के कोरोना पाजिटिव मरीज ने कोविड19 जैसी महामारी को हराते हुए जंग जीत ली।