
हम सभी जानते हैं कि गर्मी, वर्कआउट या तनाव बढ़ने पर शरीर पसीना छोड़ता है। अधिकतर लोग सोचते हैं कि पसीना सिर्फ पानी होता है, लेकिन सच यह है कि पसीना हमारे शरीर का नेचुरल डिटॉक्स सिस्टम है, जो कई तरह के तत्वों को बाहर निकालकर शरीर को संतुलित रखता है। यही वजह है कि पसीना आना हेल्थ के लिए जरूरी भी है। तो आखिर पसीने में पानी के अलावा और क्या-क्या निकलता है? आइए इसे आसान भाषा में समझते हैं कि पसीने के साथ-साथ कौनसी चीजें शरीर से बाहर निकलती हैं।
पसीने में सबसे ज्यादा मात्रा नमक (सोडियम + क्लोराइड) की होती है। यही कारण है कि पसीना खारा लगता है। जब शरीर में ज्यादा गर्मी या एक्टिविटी होती है, तब सोडियम बाहर निकलकर इलेक्ट्रोलाइट बैलेंस को बनाए रखने में मदद करता है। बहुत ही कम मात्रा में पसीने में फैट ब्रेकडाउन के कण भी निकलते हैं, हालांकि यह बहुत सीमित होता है।
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पसीने में थोड़ी मात्रा में पोटैशियम भी होता है। यह हृदय, मांसपेशियों और नसों के सुचारु काम के लिए जरूरी खनिज है। ज्यादा पसीना आने पर इसकी कमी महसूस हो सकती है, इसलिए कई लोग ORS या इलेक्ट्रोलाइट ड्रिंक लेते हैं। यूरिया शरीर में बनने वाला एक वेस्ट प्रोडक्ट है, जो आमतौर पर पेशाब के जरिए निकलता है। लेकिन थोड़ी मात्रा पसीने में भी निकल जाती है, जिससे शरीर डिटॉक्स होता है।
जब शरीर प्रोटीन ब्रेक करता है, तब अमोनिया बनता है। इसकी थोड़ी मात्रा पसीने से बाहर निकलती है। ज्यादा एक्सरसाइज करने वाले लोगों में यह मात्रा थोड़ा अधिक हो सकती है। वर्कआउट के दौरान या दौड़ते समय मांसपेशियों में बनने वाला लैक्टिक एसिड भी पसीने के जरिए बाहर आता है। यह शरीर के पीएच बैलेंस को कंट्रोल करने में मदद करता है।
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पसीना शरीर से कुछ हानिकारक टॉक्सिन्स को भी बाहर निकालता है, जैसे— कीटनाशकों के अंश, मेटल्स की छोटी मात्रा और अल्कोहल के बायप्रोडक्ट इसलिए कभी-कभी पसीने की गंध तीखी भी हो सकती है।